नई दिल्ली। अमूमन, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मणिशंकर अपने किसी ना किसी बयान को लेकर चर्चा में रहते हैं। बहुधा देखा जाता है कि उन्हें अपने बयानों की वजह से आलोचनाओं का सामना करना पड़ता है, लेकिन वो इन आलोचनाओं की परवाह किए बगैर महज बयान देने में मशगूल रहते हैं, जिसकी वजह से कई दफा कांग्रेस पार्टी को भी जवाब देना मुश्किल पड़ जाता है, जिसका नतीजा यह होता है कि पार्टी को चुनावी मोर्चे पर नुकसान का सामना करना पड़ता है। वहीं, अब आप इतना सबकुछ पढ़ने के बाद मन ही मन सोच रहे होंगे कि आखिर ऐसा क्या हो गया कि आप मणिशंकर अय्यर के संदर्भ में ऐसी भूमिकाओं के जाल बुने जा रहे हैं? आखिर माजरा क्या है? जरा कुछ खुलकर बताएंगे, तो चलिए आगे कि रिपोर्ट में हम आपको सबकुछ विस्तार से बताते हैं।
दरअसल, किसी कार्यक्रम में कांग्रेस नेता मणिशंकर अय्यर ने पाकिस्तान और भारत के रिश्ते को लेकर बयान दिया है। ध्यान दें, उन्होंने यह बयान ऐसे वक्त में दिया है, जब कुछ माह बाद लोकसभा के चुनाव होने हैं, लेकिन अभी तक उनके इस बयान पर बीजेपी की ओर से कोई प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है। अब ऐसे में उनकी ओर से क्या प्रतिक्रिया सामने आती है। इस पर सभी की निगाहें टिकी रहेंगी, लेकिन आइए उससे पहले जरा ये जान लेते हैं कि आखिर मणिशंकर अय्यर ने अपने बयान में क्या कुछ कहा है। मणिशंकर अय्यर ने अपने बयान में कहा कि, ‘ कश्मीर को लेकर पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री परवेज मुशर्रफ से मेरी बात हुई थी। कश्मीर मामले के समाधान को लेकर उनके पास 4 अहम सुझाव थे। ना जाने क्यों इस मुद्दे पर बैठकर बात नहीं हुई। अय्यर ने कहा कि मुझे भारत की पाकिस्तान को लेकर नीति समझ नहीं आ रही है। हम सर्जिकल स्ट्राइक कर सकतें है। लेकिन क्या हम टेबल पर बैठकर बात नहीं कर सकते हैं।
बता दें कि बीते दिनों मणिशंकर अय्यर की बेटी सुरन्या अय्यर ने राम मंदिर के संदर्भ में पोस्ट लिखा था, जिसे लेकर भारी हंगमा मचा था। यही नहीं, उन्होंने राम मंदिर के विरोध में तीन दिनों का उपवास भी रखा था, जिस पर उनके सोसायटी के लोगों ने उन्हें नोटिस भी जारी किया था, जिसमें उनसे माफी की मांग की गई थी।