
नई दिल्ली। चेन्नई के अन्ना विश्वविद्यालय में छात्रा के साथ हुए यौन उत्पीड़न मामले में स्थानीय महिला अदालत ने दोषी ए. ज्ञानशेखरन को कम से कम 30 साल के आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। सत्र न्यायाधीश एम राजलक्ष्मी ने दोषी पर 90 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है। 28 मई को अदालत ने ज्ञानसेखरन को दोषी करार दिया था और सजा के लिए आज की तारीख तय की थी। इस मामले की जांच के लिए एसआईटी का गठन किया गया था। डीएमके से जुड़े होने की बात सामने आने के चलते तमिलनाडु की सत्ताधारी की इसमें काफी किरकिरी हुई थी हालांकि बाद में डीएमके की ओर से इस बात का खंडन कर दिया गया था ज्ञानशेखरन पार्टी से जुड़ा था।
आपको बता दें कि अन्ना यूनिवर्सिटी में पढ़ने वाली इंजीनियरिंग की सेकेंड ईयर स्टूडेंट ने आरोप लगाया था कि जब वो कैंपस में अपने एक पुरुष मित्र के साथ थी तो ज्ञानशेखरन ने वहां आकर उसे धमकी दी और उसका रेप किया। ज्ञानशेखरन सड़क के किनारे बिरयानी बेचने था और उसकी अपराधिक पृष्ठभूमि है। 23 दिसंबर 2024 को जब छात्रा और उसका पुरुष मित्र विश्वविद्यालय परिसर में थे, तो आरोपी ने कथित तौर पर उनका एक वीडियो रिकॉर्ड किया और उसे वायरल करने की धमकी देकर छात्रा को अपना शिकार बनाया।
राष्ट्रीय महिला आयोग ने भी इस मामले में स्वत: संज्ञान लिया था। एनसीडब्ल्यू अध्यक्ष विजया रहाटकर ने तमिलनाडु के डीजीपी को निर्देश दिया था कि पीड़ित छात्रा को न्याय दिलाने के लिए लड़ें और दुष्कर्मी को सख्त सजा के लिए बीएनएस, 2023 की धारा 71 को सुनिश्चित किया जाए। चेन्नई पुलिस के द्वारा पीड़ित छात्रा की पहचान उजागर किए जाने पर उसे फटकार भी लगाई थी। तमिलनाडु के तत्कालीन बीजेपी अध्यक्ष अन्नामलाई ने इंजीनियरिंग छात्रा से दुष्कर्म मामले में विरोध स्वरूप खुद को कोड़े भी मारे थे। इसके साथ ही उन्होंने कहा 48 दिनों तक अनशन पर रहने का भी ऐलान किया था।