
नई दिल्ली। कर्नाटक की कांग्रेस सरकार में सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है। अधिकारियों के तबादले को लेकर मुख्यमंत्री एम. सिद्धारमैया और डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार के बीच मतभेद उजागर हो गया है। उपमुख्यमंत्री ने सीएम के द्वारा अधिकारियों के तबादले पर नाराजगी जताई और इस संबंध में प्रदेश के चीफ सेक्रेटरी को निर्देश जारी करते हुए पत्र भी लिख दिया। डिप्टी सीएम के द्वारा मुख्य सचिव को लिखे गए पत्र के सामने आने के बाद कर्नाटक कांग्रेस में मची रार उजागर हुई। हालांकि इस संबंध में कर्नाटक सरकार की तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं दी गई है।
यह पूरा विवाद कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया के द्वारा जल संसाधन मंत्रालय के मुख्य अभियंताओं का तबादला किए जाने के बाद शुरू हुआ। जल संसाधन मंत्रालय का प्रभार डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार के पास है और उनकी मंजूरी के बिना सीएम ने अधिकारियों का तबादला कर दिया। इससे नाराज डीके शिवकुमार ने प्रमुख सचिव को पत्र लिखा। पत्र में डिप्टी सीएम ने कहा है कि जब मैंने सरकार के कार्यकाल की शुरुआत में ही स्पष्ट निर्देश दिए थे कि मेरे अधिकार क्षेत्र वाले किसी भी विभागों में नियुक्ति और तबादले बिना मेरी स्वीकृति के जारी नहीं किए जाएंगे, इसके लिए मेरी अनुमति अनिवार्य है। इसके बावजूद जल संसाधन विभाग के मुख्य अभियंताओं का तबादला मेरी स्वीकृति के बिना ही कर दिया गया।
इस पर ऐतराज जताते हुए डिप्टी सीएम ने मुख्य सचिव को निर्देश जारी किया है कि इस आदेश को तत्काल वापस लिया जाए और भविष्य में इस प्रकार के किसी भी निर्णय को लागू करने से पहले मेरी स्वीकृति अवश्य ली जाए। आपको याद दिला दें कि कर्नाटक में विधानसभा चुनाव के बाद जब कांग्रेस की जीत हुई तो मुख्यमंत्री पद को लेकर भी सिद्धारमैया और डीके शिवकुमार के बीच खींचतान शुरू हो गई थी। हालांकि बाद में कांग्रेस आलाकमान के समझाने के बाद शिवकुमार डिप्टी सीएम पद लेकर माने।