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Atul Subhash Suicide Case: बहू निकिता को जमानत मिलने के खिलाफ हाईकोर्ट का रुख करेंगे अतुल सुभाष के पिता, पौत्र की सुरक्षा को लेकर भी चिंतित

Atul Subhash Suicide Case: पत्नी और ससुराल के लोगों पर उत्पीड़न का आरोप लगाकर आत्महत्या करने वाले एआई इंजीनियर अतुल सुभाष के पिता पवन कुमार मोदी अब हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट जाने वाले हैं। पवन कुमार मोदी ने कहा कि बेंगलुरु के कोर्ट से बहू निकिता, उसकी मां निशा और भाई अनुराग सिंघानिया को जमानत मिलने के खिलाफ वो हाईकोर्ट और यहां तक कि सुप्रीम कोर्ट भी जाने को तैयार हैं।

समस्तीपुर। पत्नी और ससुराल के लोगों पर उत्पीड़न का आरोप लगाकर आत्महत्या करने वाले एआई इंजीनियर अतुल सुभाष के पिता पवन कुमार मोदी अब हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट जाने वाले हैं। अखबार दैनिक जागरण से बातचीत में पवन कुमार मोदी ने कहा कि बेंगलुरु के कोर्ट से बहू निकिता, उसकी मां निशा और भाई अनुराग सिंघानिया को जमानत मिलने के खिलाफ वो हाईकोर्ट और यहां तक कि सुप्रीम कोर्ट भी जाने को तैयार हैं। पवन कुमार मोदी की पत्नी और अतुल सुभाष की मां की तरफ से पौत्र की कस्टडी लेने के लिए सुप्रीम कोर्ट में पहले ही अर्जी दी जा चुकी है। इस अर्जी पर सुप्रीम कोर्ट ने यूपी, हरियाणा और कर्नाटक सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा था।

अतुल सुभाष को आत्महत्या के लिए उकसाने का केस बेंगलुरु पुलिस ने दर्ज किया था। बेंगलुरु पुलिस अतुल सुभाष के जौनपुर स्थित ससुराल पहुंचती, उससे पहले ही सास निशा और साला अनुराग सिंघानिया फरार हो गए थे। वहीं, अतुल सुभाष की पत्नी निकिता भी फरार हुई थी। हालांकि, कुछ दिन बाद ही तीनों को बेंगलुरु पुलिस ने गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया था। जहां से उनको जेल भेजा गया था। कोर्ट में निकिता ने ये कहते हुए जमानत की अर्जी दी थी कि बेटा छोटा है, उसकी देखभाल करनी है। इस पर कोर्ट ने निकिता, निशा और अनुराग सिंघानिया को जमानत दे दी। वहीं, अतुल सुभाष के पिता पवन कुमार मोदी को आशंका है कि उनकी बहू अब पौत्र के साथ न जाने क्या कर दे।

अतुल सुभाष ने 9 दिसंबर 2024 को बेंगलुरु में आत्महत्या की थी। अतुल सुभाष ने आत्महत्या से पहले 48 पेज का सुसाइड नोट लिखा था। साथ ही 90 मिनट का वीडियो बनाया था। अतुल सुभाष ने सुसाइड नोट और वीडियो में आरोप लगाया कि पत्नी निकिता, सास निशा और ससुराल के अन्य लोगों ने काफी प्रताड़ित किया था और 3 करोड़ रुपए के मेंटेनेंस का केस समेत 9 मुकदमे लगाए थे। हर महीने अतुल सुभाष को मुकदमों की तारीख पर सुलतानपुर आना पड़ता था। अतुल सुभाष ने अपने सुसाइड नोट में आग्रह किया था कि उनकी आत्महत्या के लिए जिम्मेदार लोगों को कड़ी सजा दिलाई जाए। ऐसा न होने पर अपनी अस्थियां गटर में बहाने की बात अतुल सुभाष ने लिखी थी।