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Coronavirus: राजस्थान में कोरोना के कहर के बीच अच्छी खबर, अब सत्संग भवन में होगा ‘सेहत का सत्संग’, तैयार है 5 हजार बेड का अस्पताल

Coronavirus: राधा स्वामी सत्संग भवन जो कि जयपुर के बीलवा में है वहां अब सेहत का सत्संग होगा। यहां अब ऐसी व्यवस्था की गई है जिससे जल्दी मरीज ठीक होकर अपने घरों को जा सकें। यहां अलग-अलग ब्लॉक में 16 बेड लगाए गए हैं, जहां मरीजों को रखा जाएगा।

नई दिल्ली। देश में कोरोना का कहर जारी है। इसके बीच देश की स्वास्थ्य व्यवस्था चौपट हो गई है। ऑक्सीजन और बेड की कमी की वजह से लोग त्राहिमाम कर रहे हैं। अस्पताल प्रशासन लाचार है। ऐसे में कोरोना महामारी से लड़ने के लिए अलग-अलग संस्थाओं ने भी कमर कस ली है। कोविड के महाप्रलय से जूझ रहे राजस्थान के जयपुर में भी राधा स्वामी सत्संग की तरफ से ऐसी ही पहल की गई है। दरअसल राधा स्वामी सत्संग हॉल को अस्थायी अस्पताल में तब्दील किया गया है। इसमें अब कोरोना के मरीजों का इलाज होगा। मतलब कोरोना के मरीज यहां सेहत का सत्संग करेंगे और ठीक होकर वापिस अपने घर को लौटेंगे।

radha swami satsang jaipur

आपको बता दें कि राधा स्वामी सत्संग भवन जो कि जयपुर के बीलवा में है वहां अब सेहत का सत्संग होगा। यहां अब ऐसी व्यवस्था की गई है जिससे जल्दी मरीज ठीक होकर अपने घरों को जा सकें। यहां अलग-अलग ब्लॉक में 16 बेड लगाए गए हैं, जहां मरीजों को रखा जाएगा। इस कोविड सेंटर में कोविड बेड की संख्या 5 हजार है। Radha Swami Satsang Jaipur

जिसको बढ़ाकर 5 हजार से 10 हजार तक करने का काम भी जारी है। अभी 5 हजार बेड के साथ यह अस्पताल काम करना शुरू कर चुकी है। यहां पहले चरण में 500 मेडिकल सर्जिकल यूनिट बेड तैयार किए जा रहे हैं। आवश्यकता अनुसार चरणबद्ध रूप से बेड की संख्या में वृद्धि की जाएगी।

Radha Swami Satsang Jaipur

इतना ही नहीं 10 लाख वर्ग फीट में फैले संस्थान के इस क्षेत्र में 10 हजार बेड तक लगाए जा सकेंगे इसके साथ ही यहां 1000 मूत्रालय और 500 शौचालय बनाए गए हैं। इस पूरे शेड में विद्युत व्यवस्था, पंखे, सीसीटीवी कैमरे भी लगाए गए हैं।

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वहीं इसको लेकर राजस्थान सरकार का मानना है कि जिस तरह से कोरोना के मरीज रोज बढ़ रहे हैं और अस्पतालों में बेड खत्म हो रहे हैं उसे देखते हुए बड़े स्तर पर एक साथ बेड की अगर व्यवस्था की जाती है तो डॉक्टर और नर्सिंग कर्मियों की कमी के बावजूद सबकी देखभाल एक साथ हो जाएगी। ऑक्सीजन पहुंचाने में अलग-अलग जगह पर जो परेशानी हो रही उससे भी निपटा जा सकता है।