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Gyanvapi Case: जिला कोर्ट के फैसले को चुनौती देने, इलाहाबाद हाईकोर्ट पहुंचा मुस्लिम पक्ष

Gyanvapi Case : ज्ञानवापी मस्जिद की अंजुमन ए इंतजामिया कमेटी की ओर से इलाहाबाद हाईकोर्ट में अपील दाखिल करके हाईकोर्ट का फैसला आने तक वाराणसी की जिला अदालत में चल रही सुनवाई पर रोक लगाए जाने की मांग की गई है।

नई दिल्ली। वाराणसी में ज्ञानवापी मस्जिद बीते 2 वर्षों में राजनीति के केंद्र में रही है। पहले बाबरी मस्जिद विवाद चर्चाओं में रहता था तो सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद उसका निबटारा हो गया, लेकिन अब ज्ञानवापी मस्जिद विवादों में है। अब वाराणसी के ज्ञानवापी परिसर में श्रृंगार गौरी की नियमित पूजा अर्चना की इजाजत दिए जाने की मांग से जुड़ी याचिका पर वाराणसी के जिला जज की कोर्ट से आए फैसले को इलाहाबाद हाईकोर्ट में चुनौती दी गई है। जिला जज की अदालत से आए फैसले के खिलाफ मुस्लिम पक्ष इलाहाबाद हाईकोर्ट पहुंच गया है। मुस्लिम पक्ष ने आपत्ति की अर्जी खारिज किए जाने के फैसले को इलाहाबाद हाईकोर्ट में चुनौती दी है।

gyanvapi masjidआपको बता दें कि ज्ञानवापी मस्जिद की अंजुमन ए इंतजामिया कमेटी की ओर से इलाहाबाद हाईकोर्ट में अपील दाखिल करके हाईकोर्ट का फैसला आने तक वाराणसी की जिला अदालत में चल रही सुनवाई पर रोक लगाए जाने की मांग की गई है। ऑर्डर 7 रूल 11 के मामले में 12 सितंबर को आए फैसले को हाईकोर्ट में चुनौती दी गई है। ज्ञानवापी मस्जिद की इंतजामिया कमेटी की अर्जी पर इलाहाबाद हाईकोर्ट में 18 अक्टूबर इस मामले में सुनवाई हो सकती है। इंतजामिया कमेटी अब कोर्ट के फैसले का इंतजार कर रही है।

shivling gyanvapi masjidगौर करने वाली बात ये है कि दिल्ली की राखी सिंह समेत 5 महिलाओं ने वाराणसी की जिला अदालत में पिछले साल याचिका दायर करवाई की थी। याचिकाकर्ताओं ने याचिका दायर कर ज्ञानवापी परिसर में स्थित श्रृंगार गौरी की पूजा अर्चना नियमित तौर पर करवाने की इजाजत दिए जाने की मांग की थी।

सर्वोच्च न्यायालय के आदेश पर इस मामले की सुनवाई वाराणसी के जिला जज की अदालत में चल रही है। मुस्लिम पक्ष ने अदालत में आपत्ति दाखिल कर राखी सिंह समेत महिलाओं की याचिका को खारिज किए जाने की अपील की थी। लेकिन अभी यह मामला कोर्ट की हाथ में है।