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Amritsar Blast: अमृतसर में स्वर्ण मंदिर के पास एक हफ्ते में तीसरी बार धमाका, पुलिस ने कुछ संदिग्धों को हिरासत में लिया

अगर इससे पहले हुए दोनों धमाकों की बात करें, तो पहले 8 मई को धमाका हुआ था। इससे पहले भी अमृतसर में रात करीब 12 बजे हेरिटेज स्ट्रीट पर धमाका हुआ था। इसमें सारागढ़ी पार्किंग की खिड़कियों के शीशे टूट गए थे। डीसीपी परमिंदर सिंह भंडाल ने तब कहा था कि घटनास्थल से 3-4 संदिग्ध टुकड़े मिले हैं।

अमृतसर। पंजाब के धार्मिक शहर अमृतसर में बुधवार रात करीब 12.30 बजे एक बार फिर धमाका हुआ। ये धमाका स्वर्ण मंदिर से कुछ दूर स्थित श्री गुरु रामदास निवास के पास हुआ। मौके पर पहुंची पुलिस ने कुछ संदिग्धों को हिरासत में लिया है। इससे पहले स्वर्ण मंदिर के पास ही 2 बार धमाके हुए थे। एक धमाके में शीशे टूटने से श्रद्धालु भी घायल हुआ था। पंजाब के डीजीपी गौरव यादव ने उस वक्त कहा था कि जांच चल रही है। उन्होंने दूसरे धमाके के बाद बताया था कि एक कंटेनर में विस्फोटक था। जिसमें डेटोनेटर न लगाए जाने के कारण बड़ा नुकसान नहीं हुआ। अमृतसर में एक हफ्ते के दौरान विस्फोट की ये तीसरी घटना हुई है।

अगर इससे पहले हुए दोनों धमाकों की बात करें, तो पहले 8 मई को धमाका हुआ था। इससे पहले भी अमृतसर में रात करीब 12 बजे हेरिटेज स्ट्रीट पर धमाका हुआ था। इसमें सारागढ़ी पार्किंग की खिड़कियों के शीशे टूट गए थे। डीसीपी परमिंदर सिंह भंडाल ने तब कहा था कि घटनास्थल से 3-4 संदिग्ध टुकड़े मिले हैं। जिनकी जांच कराई जा रही है। खास बात ये है कि पुलिस पहले शनिवार को हुए धमाके को एक रेस्तरां की चिमनी में धमाका मान रही थी। बाद में पुलिस ने कहा कि चिमनी नहीं, किसी और चीज से धमाका हुआ।

amritsar blast 1

अमृतसर के हेरिटेज स्ट्रीट पर हुए दोनों धमाके साजिश का हिस्सा ही लग रहे हैं। खासकर पिछले कुछ समय से जिस तरह खालिस्तानी तत्वों ने पंजाब में फिर पाकिस्तान की शह पर अपना पुराना राग अलापना शुरू किया है, उससे ये शक और गहराता है। मोहाली में पुलिस मुख्यालय पर रॉकेट से हमला कर खालिस्तानी तत्वों ने पहले ही अपने खतरनाक मंसूबे जाहिर कर दिए थे। पंजाब में 1980 के दशक में खालिस्तानी जरनैल सिंह भिंडरावाला और उसके साथियों ने काफी कहर बरपाया था। बाद में डीजीपी बनकर आए केपीएस गिल ने पंजाब में आतंकवाद को पूरी तरह कुचल दिया था।