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Karnataka Government’s Another Favour To Muslims : मुस्लिमों पर फिर मेहरबान कर्नाटक की सिद्धारमैया सरकार, आवासीय योजना में 15 फीसदी आरक्षण का ऐलान

Karnataka Government’s Another Favour To Muslims : इससे पहले मुस्लिम समुदाय के लिए 10 फीसदी कोटा आरक्षित था जिसमें अब 5 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी की गई है। मुख्यमंत्री एम. सिद्धारमैया की कैबिनेट ने प्रदेश सरकार की हाउसिंग स्कीम में मुस्लिम कोटा बढ़ाकर 15 फीसदी किए जाने को मंजूरी दे दी है। डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार का कहना है कि आबादी के अनुपात को ध्यान में रखते हुए यह फैसला लिया गया है। उधर बीजेपी ने इस फैसले को राजनीतिक और कानूनी दोनों तरह से चुनौती देने की बात कही है।

नई दिल्ली। कर्नाटक की कांग्रेस सरकार ने मुस्लिमों पर एक बार फिर से मेहरबानी दिखाते हुए सरकारी आवासीय योजना में उनके लिए अतिरिक्त आरक्षण दिए जाने का ऐलान किया है। मुख्यमंत्री एम. सिद्धारमैया की कैबिनेट ने प्रदेश सरकार की हाउसिंग स्कीम में मुस्लिम आरक्षण कोटा बढ़ाकर 15 फीसदी किए जाने को मंजूरी दे दी है। मुस्लिम समुदाय के लिए पहले  10 फीसदी कोटा आरक्षित था जिसमें अब 5 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी की गई है। इस फैसले से प्रदेश के ग्रामीण और शहरी इलाकों में चल रही विभिन्न आवासीय योजनाओं में मुस्लिम आबादी को फायदा मिलेगा। उधर बीजेपी ने इस फैसले को राजनीतिक और कानूनी दोनों तरह से चुनौती देने की बात कही है। इससे पहले कर्नाटक सरकार ने सरकारी ठेकों में मुस्लिमों को आरक्षण दिए जाने की घोषणा की थी।

आवासीय योजनाओं में मुस्लिमों को 15 फीसदी आरक्षण दिए जाने के फैसले के बारे में प्रदेश के डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार का कहना है कि आबादी के अनुपात को ध्यान में रखते हुए यह फैसला लिया गया है। इंडिया टीवी की खबर के अनुसार डिप्टी सीएम का कहना है कि राज्य सरकार की बहुत से आवासीय योजनाएं ऐसी हैं जिनमें घर खाली पड़े हैं, ऐसे में इनका आवंटन आवश्यक है क्यों कि अगर यह घर खाली रहे तो इससे सिर्फ नुकसान होगा। वहीं बीजेपी को घेरते हुए शिवकुमार बोले कि विपक्षी दल के पास हिंदू मुस्लिम की राजनीति करने के सिवा और कोई मुद्दा नहीं है।

उधर, केंद्रीय मंत्री प्रल्हाद जोशी ने कहा, आज कर्नाटक सरकार ने धर्म आधारित फैसला लेते हुए आवास योजना में अल्पसंख्यकों के लिए 15 प्रतिशत आरक्षण देने का निर्णय लिया है, जोकि बिल्कुल गलत है। हम इसे राजनीतिक और कानूनी दोनों तरह से चुनौती देंगे। आपको बता दें कि कर्नाटक सरकार ने इसी साल मार्च में कर्नाटक पब्लिक प्रोक्योरमेंट एक्ट, 1999 में संशोधन को मंजूरी दी थी। इसके तहत सरकारी ठेकों में मुस्लिम ठेकेदारों के लिए 4 प्रतिशत आरक्षण देने का फैसला किया गया था। मार्च में ही प्रदेश के बजट के दौरान सरकार ने मुस्लिमों के लिए लगभग 4700 करोड़ रुपए की योजनाओं की घोषणा की थी। जिसमें मस्जिद के इमामों को 6 हजार रुपए मासिक भत्ता तथा वक्फ संपत्तियों की सुरक्षा के लिए 150 करोड़ रुपए के आवंटन की बात कही गई थी।