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Uddhav On Raj Thakerey: राज ठाकरे के हाथ मिलाने वाले बयान पर आई उद्धव ठाकरे की प्रतिक्रिया, रख दी ये शर्त

Uddhav On Raj Thakerey: महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम एकनाथ शिंदे ने बीते दिनों राज ठाकरे के घर जाकर उनसे मुलाकात की थी। ऐसी खबरें बीच-बीच में आती रही हैं कि शिंदे और फडणवीस में कुछ मुद्दों पर अलग-अलग राय है। यहां एक बात ये भी गौर करने वाली है कि देवेंद्र फडणवीस ने त्रिभाषा फॉर्मूला के तहत महाराष्ट्र की स्कूली शिक्षा में हिंदी को अनिवार्य किया है। जबकि, राज ठाकरे हिंदी को अनिवार्य करने के खिलाफ बयान दे चुके हैं।

मुंबई। महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (एमएनएस) प्रमुख राज ठाकरे की ओर से मेल-मिलाप की बात कहने के बाद अब उसका जवाब शिवसेना-यूबीटी के प्रमुख उद्धव ठाकरे ने दिया है। उद्धव ठाकरे ने कहा है कि वो आह्वान करते हैं कि सभी मराठी लोगों के हित में एक साथ आएं। साथ ही उद्धव ठाकरे ने एक शर्त की बात भी कही। उद्धव ने कहा कि जब लोकसभा चुनाव के वक्त वो कह रहे थे कि महाराष्ट्र से उद्योग लेकर गुजरात जा रहे हैं, उस वक्त विरोध होता, तो आज केंद्र में ये सरकार न होती और महाराष्ट्र में भी उसके हित पर विचार करने वाली सरकार होती।

उद्धव ठाकरे ने कहा कि तब आपने (राज ठाकरे) उसका समर्थन किया। अब विरोध और उसके बाद जोड़-तोड़ ये ठीक नहीं होगा। शिवसेना-यूबीटी के अध्यक्ष ने कहा कि जो भी महाराष्ट्र के हित के खिलाफ होगा, उसे वो घर बुलाकर भोजन नहीं कराएंगे। उद्धव ने कहा कि पहले ये करो, फिर महाराष्ट्र के हित की बात करो। इससे पहले राज ठाकरे ने फिल्ममेकर महेश मांजरेकर के साथ पॉडकास्ट में कहा कि महाराष्ट्र के हित के लिए वो उद्धव ठाकरे से हाथ मिला सकते हैं। राज ठाकरे के इसी बयान पर उद्धव ठाकरे की प्रतिक्रिया आई है, लेकिन उन्होंने शर्त रख दी है कि बीजेपी के खिलाफ आवाज उठानी होगी।

खास बात ये भी है कि महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम एकनाथ शिंदे ने बीते दिनों राज ठाकरे के घर जाकर उनसे मुलाकात की थी। एकनाथ शिंदे पहले भी कई बार राज ठाकरे से मुलाकात कर चुके हैं। ऐसे में चर्चा इसकी भी है कि क्या वो भी फिर से शिवसेना के दोनों गुटों में एका चाहते हैं? दरअसल, एकनाथ शिंदे ने उद्धव से बगावत कर सीएम का पद हासिल किया था। पिछले महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने एकनाथ शिंदे की शिवसेना से ज्यादा सीट हासिल की। इस पर देवेंद्र फडणवीस सीएम बन गए और एकनाथ शिंदे डिप्टी सीएम हो गए। हालांकि, शिंदे लगातार कहते रहे हैं कि उनका फडणवीस से किसी मुद्दे पर मतभेद नहीं है, लेकिन ऐसी खबरें बीच-बीच में आती रही हैं कि शिंदे और फडणवीस में कुछ मुद्दों पर अलग-अलग राय है। यहां एक बात ये भी गौर करने वाली है कि देवेंद्र फडणवीस ने त्रिभाषा फॉर्मूला के तहत महाराष्ट्र की स्कूली शिक्षा में हिंदी को अनिवार्य किया है। जबकि, राज ठाकरे हिंदी को अनिवार्य करने के खिलाफ बयान दे चुके हैं। जिसके बाद ही उद्धव के साथ हाथ मिलाने वाला बयान एमएनएस प्रमुख ने दिया है।