नई दिल्ली। काफी समय से एक देश-एक चुनाव की बातें चल रही हैं। एक देश-एक चुनाव का कॉन्सेप्ट पीएम नरेंद्र मोदी ने दिया था। इसके लिए मोदी सरकार ने पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की अध्यक्षता में एक कमेटी भी बनाई है। अब न्यूज चैनल आजतक की खबर के मुताबिक एक देश-एक चुनाव पर लॉ कमीशन भी अगले हफ्ते मोदी सरकार को अपनी रिपोर्ट सौंपने वाला है। इस रिपोर्ट में क्या सिफारिशें हो सकती हैं, इसकी जानकारी आजतक ने सूत्रों के हवाले से दी है।
आजतक की खबर के मुताबिक साल 2029 में एक देश-एक चुनाव हो सकते हैं। इसके लिए सरकार को संविधान में संशोधन करना होगा। लॉ कमीशन की सिफारिशों के बारे में सूत्रों के हवाले से न्यूज चैनल ने ये भी बताया है कि एक देश-एक चुनाव के कॉन्सेप्ट में लोकसभा, विधानसभाओं के अलावा स्थानीय निकायों के चुनाव भी एक साथ ही कराए जाएंगे। सूत्रों के मुताबिक अगर त्रिशंकु संसद या विधानसभा बनती है या तत्कालीन सरकार बहुमत खो देती है, तो इसके लिए मिली-जुली सरकार की सिफारिश लॉ कमीशन अपनी रिपोर्ट में करेगा। अगर मिली-जुली सरकार नहीं बनती, को संसद और संबंधित विधानसभा के बाकी बचे कार्यकाल के लिए चुनाव कराने की सिफारिश लॉ कमीशन कर सकता है। हालांकि, इसे लागू करने में काफी पेच हैं और तमाम विपक्षी दल पहले ही एक देश-एक चुनाव का विरोध कर चुके हैं।
लॉ कमीशन की रिपोर्ट आने के बाद निश्चित तौर पर मोदी सरकार कोविंद कमेटी की रिपोर्ट का भी इंतजार करेगी। दोनों रिपोर्ट देखने के बाद और सबसे सहमति बनाने के बाद ही संविधान संशोधन की दिशा में सरकार के आगे बढ़ने के आसार हैं। पीएम मोदी की सरकार का तर्क है कि एक देश-एक चुनाव से पैसा काफी कम खर्च होगा। बता दें कि देश में काफी पहले संसद और विधानसभाओं के चुनाव एक साथ ही होते थे, लेकिन कई बार मिली-जुली सरकारों के बीच में गिर जाने के कारण अब संसद और विधानसभाओं के चुनाव अलग-अलग होने लगे हैं।