
नई दिल्ली। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आज मोदी सरकार के कार्यकाल का आखिरी और अमृत काल का पहला बजट पेश किया। इस बजट में उन्होंने देश की अर्थव्यवस्था के सभी क्षेत्रों का विशेष ध्यान रखा। इसके अलावा आगामी दिनों में अर्थव्यवस्था को विकसित बनाने की दिशा में मास्टरप्लान भी संसद के पटल पर रखा। बजट में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने टैक्स को लेकर बड़ा ऐलान किया। दरअसल, आयकर देने वालों को इस बजट में बड़ी छूट दी गई है। बता दें कि अब 7 लाख रुपए तक की आय अर्जित करने वाले लोगों को आयकर नहीं देना होगा। पहले यह सीमा पांच लाख रुपए थी। इसके अलावा वित्त मंत्री ने टैक्स स्लैब में भी बड़ा फेरबदल किया है। आइए, आपको नया टैक्स स्लैब दिखाते हैं।
विगत वित्त वर्ष में इस पर क्या फैसला लिया था?
आपको बता दें कि विगत वित्तीय वर्ष में केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने टैक्स व्यवस्था में किसी भी प्रकार का फेरबदल नहीं किया था। विगत वित्त वर्ष में आयकर में किसी भी प्रकार का बदलाव नहीं किया गया था। इस बारे में जब उनसे सवाल किया गया, तो उन्होंने कहा था कि कर व्यवस्था में किसी भी प्रकार का बदलाव ना करना भी, नौकरी पेशा वाले लोगों के लिए बड़ी राहत है।
2014 में भी नहीं किया गया था कोई बदलाव
ध्यान रहे कि साल 2014 में भी टैक्स स्लैब में किसी भी प्रकार का फेरबदल नहीं किया गया था। वहीं, 2020 में नई टैक्स प्रणाली लाई गई थी। उस वक्त आय के हिसाब से कर की दर निर्धारित की गई थी। बता दें कि मौजूदा प्रणाली के तहत पांच लाख तक अर्जित करने वाले लोगों को धारा 87A के तहत 12,500 रुपये तक की कर छूट का लाभ मिलता है। मतलब पांच लाख रुपए तक आय अर्जित करने वाले लोग 87A के तहत अलग-अलग निवेश दिखाकर आयकर से छूट प्राप्त कर लेते हैं और टैक्स नहीं देना पड़ता है।