
धनबाद। ‘को नहीं जानत है जग में कपि संकटमोचन नाम तिहारो…’ किसी भी संकट से बचने के लिए हनुमानजी की प्रार्थना की इस पंक्ति का तमाम लोग स्मरण करते हैं। हिंदू मानते हैं कि बजरंगबली अपार शक्तिशाली हैं। वो हर संकट से दूर रखने में सक्षम हैं, लेकिन झारखंड के धनबाद में रेलवे के अफसर हनुमानजी के लिए संकट बन गए। रेलवे ने मंगलवार को हनुमानजी के मंदिर पर नोटिस चस्पा कर दिया। इस नोटिस में 10 दिन में मंदिर खाली करने की बात लिखी गई थी। सुनकर आपको हैरत हो रही होगी, लेकिन ऐसा हुआ। हनुमानजी को नोटिस भेजने की हर कोई चर्चा करता दिख रहा था। खास बात ये कि मंदिर को नोटिस मंगलवार के दिन भेजा गया। मंगलवार को हनुमानजी का दिन माना जाता है और उस दिन मंदिरों में उनके भक्तों का तांता लगता है।
दरअसल, धनबाद में आजकल रेलवे और नगर निगम ने अतिक्रमण के खिलाफ अभियान छेड़ रखा है। अवैध दुकानों और घरों पर बुलडोजर चलाए जा रहे हैं। रेलवे की जमीन से भी कब्जे हटाए जा रहे हैं। इसी के तहत ईस्ट-सेंट्रल रेलवे की ओर से हनुमानजी के मंदिर के बाहर नोटिस लगाया गया था। नोटिस को हनुमानजी के नाम से जारी किया गया था। इस नोटिस में लिखा था कि आपका मंदिर रेलवे की जमीन पर है। ये अवैध कब्जा है। नोटिस मिलने के 10 दिन के भीतर मंदिर हटाकर जमीन खाली कर दें। वरना आपके खिलाफ कानूनी कार्रवाई होगी।
हनुमानजी को ही नोटिस भेजने की जब चर्चा शुरू हुई और हायतौबा मची, तो रेलवे के वरिष्ठ अफसरों तक जानकारी पहुंची। इस पर धनबाद रेल मंडल के सीनियर सेक्शन इंजीनियर ने मीडिया को बयान जारी किया कि नोटिस का मामला मानवीय भूल है। गलती से नोटिस में हनुमानजी को संबोधित किया गया है। इसे सुधारा जा रहा है। भविष्य में ऐसी गलती न हो, इसका ध्यान रखा जाएगा। रेलवे का कहना है कि उसे तो अतिक्रमण हटाना है। किसी की धार्मिक भावनाओं को आहत करने का उसका कोई इरादा नहीं था।