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Bihar Political Turmoil: मीटिंग के बाद बैकफुट पर लालू की बेटी, कर दिया वो ट्वीट डिलीट, जिसमें उन्होंने नीतीश का नाम लिए बिना ही…!

Bihar Political Turmoil: ध्यान दें, उनके इस ट्वीट के बाद राजद और जेडीयू के बीच विवाद अपने चरम पर पहुंच चुका है। दोनों ही दलों के बीच तानातनी बढ़ती जा रही है। वही, इस ट्वीट के बाद कैबिनेट बैठक बुलाई गई, जिसमें नीतीश और लालू एक दूसरे से नजरें चुराते हुए नजर आए। इतना ही नहीं, दोनों अलग-अलग बैठक में शामिल हुए। पहले दोनों एक साथ बैठक में शामिल होते थे।

नई दिल्ली। बिहार में जारी राजनीतिक उठापटक के बीच लालू प्रसाद यादव की बेटी रोहिणी आचार्य ने नीतीश कुमार को आड़े हाथों लेने के मकसद से तीन ट्वीट किए थे। हालांकि, उन्होंने अपने किसी भी ट्वीट में नीतीश का नाम नहीं लिया था, लेकिन बताया गया कि उन्होंने यह ट्वीट नीतीश कुमार पर निशाना साधने के मकसद से ही किया था, मगर अब खबर है कि रोहिणी आचार्य ने तीनों ही ट्वीट डिलीट कर दिए हैं। आइए, आगे आपको बताते हैं कि आखिर रोहिणी आचार्य ने अपने ट्वीट में कहा क्या था ?

आपको बता दें कि रोहिणी आचार्य ने लगातार तीन ट्वीट किए थे, जिसमें उन्होंने पहले ट्वीट में कहा था कि, ‘,’ समाजवादी पुरोधा होने का करता वही दावा है हवाओं की तरह बदलती जिनकी विचारधारा है..। वहीं, उन्होंने अपने दूसरे ट्वीट में कहा कि, ‘खीज जताए क्या होगा जब हुआ न कोई अपना योग्य। विधि का विधान कौन टाले। जब खुद की नीयत में ही हो खोट। इसके अलावा उन्होंने अपने तीसरे और आखिरी ट्वीट में कहा कि, ‘‘अक्सर कुछ लोग नहीं देख पाते हैं अपनी कमियां। लेकिन, किसी दूसरे पे कीचड़ उछालने को करते रहते हैं बदतमीजियां..।

nitish kumar

ध्यान दें, उनके इस ट्वीट के बाद राजद और जेडीयू के बीच विवाद अपने चरम पर पहुंच चुका है। दोनों ही दलों के बीच तानातनी बढ़ती जा रही है। वही, इस ट्वीट के बाद कैबिनेट बैठक बुलाई गई, जिसमें नीतीश और लालू एक-दूसरे से नजरें चुराते हुए नजर आए। इतना ही नहीं, दोनों अलग-अलग बैठक में शामिल हुए। पहले दोनों एक साथ बैठक में शामिल होते थे। इसके अलावा बैठक संपन्न होने के बाद दोनों नेता में से किसी ने भी मीडिया ब्रीफिंग भी नहीं की अन्यथा आमतौर पर कैबिनेट बैठक संपन्न होने के बाद प्रेसवार्ता की जाती थी, मगर इस बार ऐसा कुछ भी देखने को नहीं मिला।

उधर, बताया जा रहा है कि नीतीश कुमार कभी-भी राजद से नाता तोड़ सकते हैं। वो बीजेपी में शामिल हो सकते हैं, लेकिन बीजेपी ने स्पष्ट कर दिया था कि अगर नीतीश कुमार हमारे पाले में आते हैं, तो जरूरी नहीं है कि उन्हें सीएम पद की जिम्मेदारी ही मिलेगी। बीजेपी ने स्पष्ट कर दिया है कि अगर नीतीश कुमार हमारे साथ आते हैं, तो हमें कोई आपत्ति नहीं है, लेकिन शर्त यह है कि सीएम बीजेपी का ही नेता होगा। उधर, बताया जा रहा है कि नीतीश कुमार समय से पहले विधानसभा को भंग कर सकते हैं। बहरहाल, अब आगामी दिनों में बिहार की राजनीति कैसी रहती है । इस पर सभी की निगाहें टिकी रहेंगी।