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Agni-5: भारत में अग्नि-5 बेलिस्टक मिसाइल के सफल परीक्षण से छाया चीन में मातम, ऐसी है वजह

विशेषज्ञों का कहना है कि यह मिसाइल पलक झपकते हुए चीन के कई औद्योगिक शहरों को ध्वस्त कर सकती है, जो कि प्रत्यक्ष तौर पर चीन के आर्थिक हितों पर चोट होगी। इस मिसाइल द्वारा लगाया जाना वाला निशाना भी अचूक है। इसके अलावा हर परिस्थिति में निशाना लगा पाने में सक्षम है।

नई दिल्ली। अब एक नहीं, दो नहीं, तीन भी नहीं, बल्कि हजार बार भारत के खिलाफ कार्रवाई करने से पहले चीन सोचेगा। अगर नहीं सोचेगा तो इसी तरह पीटेगा, और अब तो और पीटेगा। जी बिल्कुल, सही पढ़ रहे हैं आप। अब ड्रैगन इसलिए ज्यादा पीटेगा, क्योंकि आज यानी की गुरुवार को भारत ने अग्नि-5 मिसाइल का सफल परीक्षण कर लिया है। अग्नि-5 के सफल परीक्षण के बाद भारत की मारक क्षमता में क्रांतिकारी इजाफा हुआ है। जिसके बाद चीन और पाकिस्तान सरीखे मुल्कों को भारत के खिलाफ आंखें उठाने से पहले एक नहीं, बल्कि हजार बार सोचना होगा। आइए, आगे हम आपको इस मिसाइल की खूबियों के बारे में तफसील से बताते हैं जिनसे वाकीफ होने के बाद चीन में मातम छाया हुआ है।

दरअसल, अग्नि-5 मिसाइल 5 हजार किलोमीटर तक की दूरी में स्थित अपने लक्ष्य को भेदने में समक्ष है, जबकि चीन का कहना है कि भारतीय मिसाइल 7 हजार किलोमीटर तक के अपने लक्ष्य को भेदने में समक्ष है। इसके अलावा इस मिसाइल के सफल परीक्षण के बाद चीन के कई बड़े शहर अब इसकी जद में आ चुके हैं। इन शहरों में अधिकांश वे शहर शामिल हैं, जहां से भारत विरोधी रूपरेखा को तैयार कर उसे अंजाम दिया जाता है। ऐसे में आप सहज ही अंदाजा लगा सकते हैं कि आगामी दिनों में चीन के लिए दुश्वारियों का सैलाब ही पैदा होने जा रहा है। जाहिर है कि चीन ने आगे चलकर भारत के खिलाफ कोई भी कदम उठाया, तो उसे इन दुश्वारियों में ही सराबोर होना होगा।

वहीं, विशेषज्ञों का कहना है कि यह मिसाइल पलक झपकते हुए चीन के कई औद्योगिक शहरों को ध्वस्त कर सकती है, जो कि प्रत्यक्ष तौर पर चीन के आर्थिक हितों पर चोट होगी। इस मिसाइल द्वारा लगाया जाना वाला निशाना भी अचूक है। इसके अलावा यह हर परिस्थिति में निशाना लगा पाने में सक्षम है। इतना ही नहीं, चीन तो मात्र एक छोटा सा हिस्सा है। यह मिसाइल एशिया के 70 फीसद हिस्सों को भी खाक करने की क्षमता रखती है। इसके अलावा यह मिसाइल 1500 किलोग्राम तक के मिसाइल हथियार को एक स्थान से लेकर दूसरे स्थान तक ले जाने सक्षम है।

आपको बता दें, बीते 9 दिसंबर को अरूणाचल प्रदेश के तवांग में भारत-चीन सैनिकों के बीच झड़प हई थी। चीनी सैनिकों ने निर्धारित सीमाओं का उल्लंघन किया था। जिसके नतीजतन यह झड़प देखने को मिली। इस झड़प में चीन के 30 तो भारत के 6 सैनिक घायल हो गए थे। इस झड़प में चीन को ही ज्यादा नुकसान हुआ था। बताया जा रहा है कि अपने नापाक इरादों को जमीन पर उतारने के साथ चीन गलवान पार्ट -2 को अंजाम देने की फिराक में था। हालांकि, इस झड़प के बाद चीन ने अपनी ओर से जारी प्रतिक्रिया में कहा कि स्थिति नियंत्रित है। उधर, भारत भी सुरक्षा मोर्चे पर अपनी तैयारियों को परवान देने में जुट चुका है, जिसे देखते हुए यह मिसाइल भारत के लिए काफी अहम माना जा रहा है।