
हैदराबाद। इन्फोसिस के चेयरमैन एनआर नारायणमूर्ति ने 2024 में हर हफ्ते 70 घंटे काम करने की सलाह दी थी। वहीं, एलएंडटी के चेयरमैन एसएन सुब्रहमण्यम ने कहा था कि हर हफ्ते लोगों को 90 घंटे काम करना चाहिए। इसे लेकर सोशल मीडिया पर काफी हायतौबा मची थी। अब तेलंगाना में सीएम रेवंत रेड्डी की कांग्रेस सरकार ने दुकानों और मॉल्स के अलावा अन्य उद्योगों और कारखानों में हर दिन 10 घंटे काम के प्रस्ताव को मंजूरी दी है। इस प्रस्ताव में हर हफ्ते 48 घंटे तक ही काम के घंटे तय करने का भी प्रावधान है। इंडिया टुडे के मुताबिक तेलंगाना सरकार का कहना है कि कारोबार को आसान बनाने के लिए काम के घंटे तय करने का ये अहम फैसला किया गया है।

तेलंगाना की रेवंत रेड्डी सरकार के मुताबिक राज्य की कॉमर्शियल इकाइयों में हर दिन 10 घंटे से ज्यादा काम नहीं लिया जा सकेगा। हफ्ते में काम के कुल 48 घंटे से ज्यादा भी नहीं होना चाहिए। साथ ही इस समयसीमा से ज्यादा काम करने वाले कर्मचारियों को ओवरटाइम भी देना होगा। तेलंगाना सरकार के मुताबिक ओवरटाइम में भी कोई कर्मचारी 12 घंटे से ज्यादा की ड्यूटी नहीं करेगा। इसके अलावा हर रोज 6 घंटे से ज्यादा काम करने वालों को आधे घंटे का ब्रेक भी देना होगा। तेलंगाना सरकार 8 जुलाई को काम के घंटे संबंधी आदेश राजपत्र में प्रकाशित करेगी। उसी तारीख से ये लागू हो जाएगा। रेवंत रेड्डी सरकार के मुताबिक तेलंगाना दुकान और प्रतिष्ठान कानून 1988 के संख्या 20 के तहत काम के घंटे तय किए गए हैं।
तेलंगाना सरकार के अनुसार काम के घंटे तय करने से राज्य में कारोबार बढ़ेगा। राज्य सरकार ने ये भी कहा है कि काम के तय घंटे को न मानने पर संबंधित प्रतिष्ठान को मिली छूट भी रद्द कर दी जाएगी। इससे पहले खबर आई थी कि कांग्रेस शासित कर्नाटक की सरकार काम के घंटे बढ़ाने का फैसला करने वाली है। इस खबर के बाद सोशल मीडिया पर लोगों की अलग-अलग प्रतिक्रिया आई थी। हालांकि, अब तक कर्नाटक सरकार ने काम के घंटे बढ़ाने संबंधी कोई फैसला नहीं किया है। बता दें कि तेलंगाना और कर्नाटक में आईटी क्षेत्र की तमाम बड़ी कंपनियों के दफ्तर हैं।