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Manipur Violence: नहीं थम रही मणिपुर में हिंसा, बिष्णुपर में संदिग्ध कुकी विद्रोहियों ने की फायरिंग, तीन की गई जान

Manipur Violence: शनिवार रात करीब 12:30 बजे उत्तर-पश्चिम दिशा से गोलियों की आवाज सुनी गई। इसके बाद, लगभग 2:20 बजे, अज्ञात सशस्त्र विद्रोहियों और संदिग्ध विद्रोही समूहों ने डंपी हिल क्षेत्र से उस स्थान की ओर गोलीबारी शुरू कर दी, जहां वीडीएफ (ग्राम रक्षा बल)/पुलिस कमांडो तैनात थे।

नई दिल्ली। मणिपुर में हिंसा लगातार बढ़ती जा रही है, जिसके कम होने के कोई आसार नजर नहीं आ रहे हैं। एक बार फिर शनिवार की देर रात बिष्णुपुर जिले में गोलीबारी की घटना में तीन स्वयंसेवकों के शहीद होने की खबर सामने आई है। यह घटना खुम्बी पुलिस स्टेशन के अधिकार क्षेत्र में लिंगंगथाबी आवासीय स्कूल के करीब लिंगंगथाबी पुलिस चौकी के पास हुई।

Manipur Violence

सूत्रों के मुताबिक, शनिवार रात करीब 12:30 बजे उत्तर-पश्चिम दिशा से गोलियों की आवाज सुनी गई। इसके बाद, लगभग 2:20 बजे, अज्ञात सशस्त्र विद्रोहियों और संदिग्ध विद्रोही समूहों ने डंपी हिल क्षेत्र से उस स्थान की ओर गोलीबारी शुरू कर दी, जहां वीडीएफ (ग्राम रक्षा बल)/पुलिस कमांडो तैनात थे।जवाब में वीडीएफ/पुलिस कमांडो ने जवाबी कार्रवाई की। पूरी रात वीडीएफ/पुलिस कमांडो और संदिग्ध विद्रोही तत्वों के बीच रुक-रुक कर गोलीबारी होती रही।

मणिपुर हिंसा पर उद्धव ठाकरे गुट के नेता संजय राउत ने कहा कि अगर मणिपुर की हिंसा पूर्व नियोजित है तो केंद्र सरकार, राज्यपाल, मुख्यमंत्री आपके हैं। यह (हिंसा) पूर्व नियोजित किसने की? मणिपुर की हिंसा में चीन का हाथ है। आपने चीन को क्या सबक सिखाया? राहुल गांधी गए हैं, वह बड़ी बात है। अमित शाह गए और एक बैठक लेकर चले गए… मणिपुर में राष्ट्रपति शासन लगाना चाहिए।

इस टकराव के दौरान, खोइनुमथांग चिंगथक में बंकरों में तैनात स्वयंसेवक शहीदों को विद्रोही समूहों की गोलीबारी का खामियाजा भुगतना पड़ा। गोलीबारी की घटना के बाद, खोइनुमथांग चिंगथक बंकर में तीन शहीद स्वयंसेवक मृत पाए गए। मृतकों की पहचान लीकाई कीबोटोन के निंगोंबम इबोम्चा (34), चिंग्या के हाओबाम इबोचा (41) और चिंग्या के नाओरेम राकेश (26) के रूप में की गई है।