
कोलकाता। 6 अप्रैल को रामनवमी का पर्व है। पश्चिम बंगाल में बीते कुछ साल में रामनवमी पर हिंसा की घटनाएं होती रही हैं। बीजेपी लगातार आरोप लगाती है कि पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ टीएमसी ऐसी घटनाएं करने वालों पर कार्रवाई नहीं करती। इस बार बीजेपी ने पश्चिम बंगाल में बड़े पैमाने पर रामनवमी मनाने का एलान किया है। साथ ही रामनवमी के समारोह में किसी तरह का अड़ंगा लगने पर अपनी रणनीति भी जाहिर कर दी है। पश्चिम बंगाल विधानसभा में नेता विपक्ष शुभेंदु अधिकारी ने साफ तौर पर कहा है कि जहां भी पुलिस रोकेगी, वहीं रामनवमी मनाई जाएगी।
बीजेपी के नेता शुभेंदु अधिकारी ने पश्चिम बंगाल की सरकार को आड़े हाथ भी लिया और साफ कहा कि जुलूस निकालने के लिए किसी की मंजूरी की जरूरत नहीं है। शुभेंदु अधिकारी ने कहा कि घर में, सड़क पर, नदी किनारे, पर्वत पर हर जगह भगवान राम की पूजा की जाएगी। बीजेपी नेता ने कहा कि हम हिंदू समुदाय के साथ ध्वज लेकर और जय श्रीराम का नारा लगाते हुए निकलेंगे। शुभेंदु अधिकारी ने ये भी कहा कि जो हिंदू हित में काम करेगा, वो ही पश्चिम बंगाल पर राज करेगा। शुभेंदु अधिकारी के इस बयान से साफ है कि इस बार रामनवमी पर बीजेपी के नेता और कार्यकर्ता ममता बनर्जी की सरकार के सामने उहापोह की स्थिति बना सकते हैं।
शुभेंदु अधिकारी ने पश्चिम बंगाल में ओबीसी के सर्वे पर भी सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने कहा कि टीएमसी सरकार सिर्फ मुस्लिम समुदाय को सर्वे में केंद्रित कर रही है। बीजेपी नेता ने इस सर्वे को असंवैधानिक बताते हुए कहा कि ये न्याय नहीं है। शुभेंदु ने कहा कि ओबीसी की लिस्ट में अवैध तरीके से कई समुदायों को शामिल करने के फैसले को कलकत्ता हाईकोर्ट ने खारिज कर दिया। सुप्रीम कोर्ट ने सर्वे पर रोक न लगाते हुए 3 महीने में दोबारा सर्वे करने को कहा, लेकिन ममता बनर्जी की सरकार सिर्फ मुस्लिम समुदाय पर ध्यान दे रही है। शुभेंदु अधिकारी ने कहा कि रामनवमी के बाद बीजेपी का ओबीसी मोर्चा इस मुद्दे पर सड़कों पर उतरेगा। साथ ही कलकत्ता हाईकोर्ट भी जाएंगे।