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Taliban In Afghanistan: नॉर्दर्न अलायंस से बुरी तरह पिटने के बाद तालिबान करना चाहता है सुलह, कही ये बात

Taliban In Afghanistan: अहमद मसूद के पास करीब 30000 लड़ाके हैं। इनके पास काफी हथियार हैं। और भी हथियार ताजिकिस्तान के रास्ते हेलीकॉप्टर से मसूद के लड़ाकों के पास पहुंचे हैं। ताजिकिस्तान ने पहले ही कह दिया है कि तालिबान आतंकी हैं और वह अफगानिस्तान पर उनके शासन को किसी सूरत में मान्यता नहीं देगा। इससे भी अहमद मसूद और अमरुल्लाह सालेह को काफी बल मिला है।

काबुल। उत्तरी अफगानिस्तान के पंजशीर में नॉर्दर्न अलायंस के हाथ बुरी तरह पिटने के बाद तालिबान ने सुलह की बात कही है। खबर है कि दोनों पक्षों के बीच सीजफायर हो गया है और परवान नाम की जगह में बातचीत हो रही है। सूत्रों के मुताबिक तालिबान ने नॉर्दर्न अलायंस से वादा किया है कि वह पंजशीर इलाके में नहीं घुसेगा। वहीं, नॉर्दर्न अलायंस भी फिलहाल संघर्ष विराम पर राजी हो गया है। बता दें कि पंजशीर के शेर कहे जाने वाले अहमद शाह मसूद के बेटे अहमद मसूद और अफगानिस्तान के पूर्व उप राष्ट्रपति अमरुल्लाह सालेह एक साथ आ गए हैं। यहां तमाम कबायली नेताओं ने भी तालिबान के खिलाफ नॉर्दर्न अलायंस को मदद देने का वादा किया है।

ahmad masud

अहमद मसूद के पास करीब 30000 लड़ाके हैं। इनके पास काफी हथियार हैं। और भी हथियार ताजिकिस्तान के रास्ते हेलीकॉप्टर से मसूद के लड़ाकों के पास पहुंचे हैं। ताजिकिस्तान ने पहले ही कह दिया है कि तालिबान आतंकी हैं और वह अफगानिस्तान पर उनके शासन को किसी सूरत में मान्यता नहीं देगा। इससे भी अहमद मसूद और अमरुल्लाह सालेह को काफी बल मिला है।

taliban

अहमद मसूद के पिता अहमद शाह मसूद ने 20000 लड़ाकों के साथ तालिबान को 1990 के दशक में काबुल से भी भगा दिया था। मसूद ने बाकायदा सरकार बनाई थी, लेकिन बाद में तालिबान ने उन्हें पंजशीर वापस जाने के लिए मजबूर कर दिया है। अमेरिका पर 9/11 के आतंकी हमले से पहले ही अल-कायदा ने आत्मघाती हमला कर अहमद शाह मसूद की हत्या कर दी थी। मसूद के नाम पर बाद में काबुल एयरपोर्ट का नाम रखा गया, लेकिन राष्ट्रपति बनने के बाद हामिद करजई ने एयरपोर्ट का नाम बदल दिया था।