
नई दिल्ली। बीएपीएस स्वामीनारायण मंदिर में भगवान श्रीराम और भगवान श्रीस्वामीनारायण की जयंती का संयुक्त उत्सव बीती 5 अप्रैल को धूमधाम से मनाया गया। इस पवित्र अवसर पर कनाडा के प्रधानमंत्री मार्क कार्नी भी टोरंटो में स्थित बीएपीएस स्वामीनारायण मंदिर पहुंचे। कनाडाई पीएम ने भक्ति-भावनाओं से परिपूर्ण होकर भगवान की पूजा और दर्शन किए। वो पूरी श्रद्धा के साथ आरती में शामिल हुए और श्रीहरि को पुष्प तथा फल भी अर्पित किए। उन्होंने नीलकंठवर्णी महाराज का अभिषेक कर देश-विदेश में शांति, सद्भावना और समृद्धि की मंगलकामना की।
वैदिक परंपरानुसार किया गया स्वागत
स्वामीनारायण मंदिर में कनाडा के प्रधानमंत्री मार्क कार्नी का वैदिक परंपरानुसार नाड़ा-छड़ी (पवित्र सूत्र) बांधकर तथा पुष्पमाल पहनाकर स्वागत किया गया। बीएपीएस के वरिष्ठ संतों ने उन्हें मंदिर की आध्यात्मिक गरिमा से परिचित कराया। मंदिर की भव्यता, कलात्मक पत्थर की नक्काशी और आध्यात्मिक वातावरण से कनाडाई प्रधानमंत्री अभिभूत हो गए।
‘सत्संग दीक्षा’ ग्रंथ की बहुभाषी विशेष प्रति भेंट की गई
इस दिव्य यात्रा की विशेष झलक तब देखने को मिली जब उन्हें परम पूज्य महंत स्वामी महाराज द्वारा रचित ‘सत्संग दीक्षा’ ग्रंथ की बहुभाषी विशेष प्रति भेंट की गई। भारत से भेजे गए पूज्य महंत स्वामी महाराज के आशीर्वाद-पत्र को प्रधानमंत्री की उपस्थिति में पढ़ा गया। इस संदेश में स्वामी श्री ने प्रधानमंत्री कार्नी के सत्प्रेरणादायक नेतृत्व, कनाडा की समृद्धि एवं संपूर्ण मानवता के कल्याण हेतु मंगलकामनाएं व्यक्त कीं।
बीएपीएस के सामाजिक योगदानों की कनाडाई पीएम ने की प्रशंसा
इस अवसर पर भाव-विभोर होकर कनाडाई प्रधानमंत्री मार्क कार्नी ने अतिथि-पुस्तिका में बीएपीएस के प्रति अपने विचारों को साझा किया। उन्होंने लिखा, आपकी प्रार्थनाओं और प्रेमपूर्ण सत्कार के प्रति मैं अपनी गहन कृतज्ञता व्यक्त करता हूँ। मैं पूरी निष्ठा और प्रतिबद्धता से यह संकल्प करता हूँ कि कनाडा, भारत और समस्त विश्व में शांति, एकता, सौहार्द और समृद्धि को प्रोत्साहित करता रहूँगा।
Joined Hindu community members at the @BAPS_Toronto Mandir yesterday for the first day of Ram Navami celebrations. Thank you for sharing your traditions and culture with me. Happy Ram Navami! pic.twitter.com/dh5jFBuJIC
— Mark Carney (@MarkJCarney) April 6, 2025
प्रधानमंत्री कार्नी ने बीएपीएस मंदिर के सामाजिक योगदानों की भूरि-भूरि प्रशंसा की, जिसमें समाज सेवा, अंतरधार्मिक सद्भाव, सांस्कृतिक मूल्यों का संरक्षण तथा युवा पीढ़ी के निर्माण में मंदिर की प्रेरणादायी भूमिका शामिल है। उन्होंने मंदिर को कनाडा की राष्ट्रीय एकता, स्वयंसेवा और शांति का प्रकाशस्तंभ बताया।
प्रधानमंत्री कार्नी ने मंदिर परिसर में लोगों से किया संवाद
प्रस्थान से पूर्व प्रधानमंत्री ने समुदाय के सदस्यों एवं हिंदू नेताओं से आत्मीय संवाद किया और विविधता, समावेशिता एवं सांस्कृतिक एकता के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को दृढ़तापूर्वक दोहराया।