
नई दिल्ली। भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर अपनी स्पष्ट राय को लेकर दुनिया भर में जाने जाते हैं। उन्होंने चीन को भी वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) को लेकर खरी-खोटी सुनाई है। एस जयशंकर का मानना है कि सीमाई इलाकों में शांति स्थापित होने पर ही चीज के साथ हमारे रिश्ते सामान्य हो सकते हैं इसके साथ ही विदेश मंत्री ने कहा कि सीमा पर शांति के बिना संबंधों को सामान्य किए जाने की बात निराधार है। विदेश मंत्री एस जयशंकर ने सैनिकों की ‘अग्रिम मोर्चे’ पर तैनाती को असल समस्या बताया।
इसके साथ ही केंद्र में नरेन्द्र मोदी सरकार के कार्यकाल के नौ वर्ष पूरे होने के अवसर पर जयशंकर ने प्रेस से बातचीत में बताया, ” भारत भी चीन के साथ संबंधों को बेहतर बनाना चाहता है लेकिन यह केवल तभी संभव है तब सीमावर्ती क्षेत्रों में अमन और शांति स्थापित हो सके।” उन्होंने चीन को पूरी तरह से स्पष्ट किया कि जब तक सीमावर्ती क्षेत्रों में अमन और शांति नहीं होगी। तबतक दोनों देशों के सम्बंधों में मधुरता की उम्मीद नहीं की जा सकती।
Can’t have good ties with China without peace at LAC: Indian External Affairs Minister S Jaishankar@SinghBhairavi brings you this report by @sidhant
Watch more: https://t.co/fhCZoC4ORI pic.twitter.com/eZqfChM3Rr
— WION (@WIONews) June 8, 2023
जानकारी के लिए आपको बता दें कि भारत के विदेश मंत्री जयशंकर ने उत्तरी सीमा की स्थिति और चीन की ‘बेल्ट एंड रोड’ पहल के खिलाफ देश के रुख का हवाला देते हुए कहा कि भारत किसी दबाव, लालच और गलत विमर्श से प्रभावित नहीं होता। बता दें कि ‘बेल्ट एंड रोड’ पहल चीन की तरफ से प्रायोजित एक योजना है जिसमें पुराने सिल्क रोड के आधार पर एशिया, अफ्रीका और यूरोप के देशों में आधारभूत सम्पर्क ढांचे का विकास किये जाने की योजना है। भारत और चीन के बीच पूर्वी लद्दाख में संघर्ष के कुछ क्षेत्रों में पिछले तीन वर्षो से अधिक समय से लगातार तनाव का माहौल बना हुआ है।