नई दिल्ली। हिंदू धर्म में कार्तिक मास को अत्यंत पवित्र महीना माना जाता है। इस माह में पूजा-अर्चना काफी शुभ और फलदायी माना जाता है। कार्तिक मास में पड़ने वाली पूर्णिमा का विशेष महत्व होता है। ऐसी मान्यता है कि इस दिन किसी पवित्र नदी में स्नान करने से पापों से छुटकारा मिलता है साथ ही हमें महापुण्य की प्राप्ति भी होती है। इसके अलावा, इस दिन कुछ विशेष उपाय करने से भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी की विशेष कृपा भी प्राप्त होती है। तो आइए जानते हैं कार्तिक पूर्णिमा की सही तिथि और शुभ-मुहूर्त…
कार्तिक पूर्णिमा की सही तिथि और शुभ-मुहूर्त
कार्तिक माह की पूर्णिमा तिथि 07 नवंबर की शाम 04 बजकर 15 मिनट से शुरू होकर 08 नवंबर की शाम 04 बजकर 31 मिनट पर समाप्त हो जाएगी। इसका व्रत मंगलवार यानी 08 नवंबर को रखा जाएगा। कार्तिक पूर्णिमा पर स्नान करने का शुभ-मुहूर्त प्रात: 04 बजकर 57 मिनट से 05 बजकर 49 मिनट तक है।
कार्तिक पूर्णिमा के खास उपाय
1.कहा जाता है कि कार्तिक महीने में भगवान विष्णु पवित्र नदियों में वास करते हैं। ऐसे में कार्तिक महीने की पूर्णिमा पर किसी भी पवित्र नदी में स्नान करने से सभी प्रकार के पापों से छुटकारा मिलता है साथ ही अक्षय पुण्य की भी प्राप्ति होती है।
2.इस दिन पवित्र नदी में स्नान करने के बाद श्री हरि के मत्स्य अवतार को तुलसी दल अर्पित करें।
3.कार्तिक पूर्णिमा पर नदी के किनारे दीपदान करना काफी शुभ माना जाता है।
4.इस पावन अवसर पर जरुरतमंदों को जूते-चप्पल, गर्म कपड़े और अन्न का दान करने से अन्य दिनों की अपेक्षा अधिक फल प्राप्त होता है साथ ही सभी संकटों से छुटकारा भी मिलता है।