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Adipurush Controversy: इलाहाबाद कोर्ट के बाद सुप्रीम कोर्ट में डाली गई फिल्म आदिपुरुष को बैन करने की याचिका, केंद्र सरकार को भी बनाया पक्षकार

Adipurush Controversy: याचिकाकर्ता ने कहा है कि फीचर फिल्म “आदिपुरुष” में भ्रामक डायलॉग का इस्तेमाल किया गया है, जो सीधे तौर पर हिंदुओं की भक्ति पर आघात करते हैं। गौरतलब है कि कल ही इलाहाबाद हाईकोर्ट ने फिल्म को लेकर मेकर्स को लताड़ लगाई थी। न्यायाधीशों की बेंच ने कहा कि मेकर्स कम से कम ग्रंथों के साथ खिलवाड़ न करें

नई दिल्ली। ओम राउत की फिल्म आदिपुरुष रिलीज के साथ ही विवादों से घिर गई है। फिल्म पर कई तरह के आरोप लग रहे हैं। दर्शक से लेकर संत समाज भी फिल्म का विरोध कर रहा है। फिल्म के डायलॉग पर सबसे ज्यादा आपत्ति जताई गई, हालांकि विवाद के बाद फिल्म के डायलॉग को बदल दिया गया लेकिन विवादों का सिलसिला अभी भी जारी है। बीते दिन ही एक याचिका पर सुनवाई करते हुए इलाहाबाद हाई कोर्ट ने फिल्म के मेकर्स को फटकार लगाई थी, अब हाई कोर्ट के बाद सुप्रीम कोर्ट में आदिपुरुष फिल्म पर प्रतिबंध लगाने के लिए याचिका डाली गई है।

 

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सुप्रीम कोर्ट में डाली गई याचिका

पूरे देश में फिल्म को बैन करने की मांग उठ रही है। देश के अलग-अलग हिस्सों से फिल्म को लेकर बवाल भी जारी है। अब इलाहाबाद हाई कोर्ट के बाद फिल्म को बैन करने की याचिका दिल्ली के सुप्रीम कोर्ट में डाली गई है। याचिका ममता रानी नाम की महिला ने डाली है।

 

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याचिका में फिल्म को पूर्णतया बैन करने की मांग की गई है। याचिका में लिखा गया है कि हिंदू समुदाय और भगवान राम और भगवान हनुमान के भक्तों की भावनाओं को आहत करने के लिए फिल्म “आदिपुरुष” को सिनेमैटोग्राफ अधिनियम 1952 की धारा 5ई (1) (ii) के तहत केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड द्वारा दिए गए प्रमाण पत्र को रद्द किया जाए।


इलाहाबाद कोर्ट लगा चुका है फटकार

याचिकाकर्ता ने कहा है कि फीचर फिल्म “आदिपुरुष” में भ्रामक डायलॉग का इस्तेमाल किया गया है, जो सीधे तौर पर हिंदुओं की भक्ति पर आघात करते हैं। गौरतलब है कि कल ही इलाहाबाद हाईकोर्ट ने फिल्म को लेकर मेकर्स को लताड़ लगाई थी। न्यायाधीशों की बेंच ने कहा कि मेकर्स कम से कम ग्रंथों के साथ खिलवाड़ न करें। किसी को हक नहीं बनता कि वो किसी भी धर्म का मजाक बनाए। आप आने वाली पीढ़ी के लिए कैसा उदाहरण पेश करना चाहते हैं। बता दें कि फिल्म 16 जून को रिलीज हुई थी।