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दो सप्ताह तक नहीं होगी किसी प्रकार की वसूली : इलाहाबाद हाइकोर्ट

कोर्ट ने कहा है कि दो सप्ताह तक कोई भी नीलामी प्रक्रिया नहीं होगी। किसी के भी मकान का ध्वस्तीकरण नहीं होगा। किसी को भी उसके मकान से बेदखल नहीं किया जाएगा।

नई दिल्ली। उत्तरप्रदेश में कोरोना के चलते इलाहाबाद हाई कोर्ट ने भी सतर्कता बरतते हुए कई अहम फैसले लिए हैं। हाई कोर्ट ने अगले दो हफ्ते यानी 6 अप्रैल, 2020 तक वित्तीय संस्थाओं, बैंकों या सरकारी संस्थाओं द्वारा लोगों से किसी प्रकार की वसूली कार्रवाई पर रोक लगा दी है।

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यह आदेश न्यायमूर्ति रमेश सिन्हा तथा न्यायमूर्ति अजीत कुमार की खंडपीठ ने दर्पण साहू की बैंक वसूली के खिलाफ दाखिल याचिका की सुनवाई करते हुए दिया है।

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कोर्ट ने राज्य सरकार व सभी वित्तीय संस्थाओं, अधिकारियों को दो हफ्ते तक वसूली मामले में व्यक्तिगत उत्पीड़न नहीं करने का निर्देश दिया है। किसी को विवश नहीं किया जाएगा कि वह कोर्ट की शरण में आने को बाध्य हो।

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कोर्ट ने कहा है कि दो सप्ताह तक कोई भी नीलामी प्रक्रिया नहीं होगी। किसी के भी मकान का ध्वस्तीकरण नहीं होगा। किसी को भी उसके मकान से बेदखल नहीं किया जाएगा। जिला प्रशासन एवं अर्ध न्यायिक संस्था किसी भी अधिकारी को पेशी के लिए तलब नहीं करेंगी। हाई कोर्ट ने यह कदम कोरोना वायरस की भयावहता को देखते हुए दिया है।