पटना। बिहार में जेडीयू से अलगाव के बाद अब बीजेपी लगातार वहां की कानून और व्यवस्था ध्वस्त होने के मुद्दे उठा रही है। पार्टी ने अब बाहुबली और पूर्व सांसद आनंद मोहन का मुद्दा उठाकर नीतीश कुमार की सरकार को घेरा है। हुआ ये कि आनंद मोहन की एक फोटो सोशल मीडिया पर वायरल हुई। इसमें वो अपने घर पर पत्नी लवली आनंद और बेटे और आरजेडी विधायक चेतन आनंद समेत कुछ लोगों के साथ दिख रहे हैं। फोटो से बवाल यूं मचा कि आनंद मोहन कोर्ट में पेशी के बाद जेल ले जाए जा रहे थे। वो बीच रास्ते अपने घर पहुंच गए। बीजेपी ने सवाल उठाया कि बिना बेल कोई कैदी अपने घर कैसे जा सकता है? पार्टी ने इसे बिहार में जंगलराज की वापसी बताया। उधर, इस मसले पर सरकार घिरी, तो उसने आनंद मोहन को घर ले जाने के मसले पर 5 पुलिसवालों को सस्पेंड कर दिया है।
पूरा मामला ये है कि बीते गुरुवार को आनंद मोहन को सहरसा जेल से पटना सिविल कोर्ट पेशी पर लाया गया था। नियमों के मुताबिक कैदी को कोर्ट में बने हवालात में रखा जाता है। पूरे समय कैदी पुलिस की हिरासत में रहता है। आनंद मोहन जब कोर्ट से जेल ले जाए जा रहे थे, तो चांद मेमोरियल के पास एमएलए कॉलोनी के अपने घर पहुंच गए। इसके अलावा वो कुछ और समर्थकों से भी मिले। इसी की फोटो वायरल हो गईं। इस पर बीजेपी नेता अरविंद कुमार ने मीडिया से कहा कि आनंद मोहन का परिवार से मिलना दुर्भाग्यपूर्ण है। इस तरह की घटनाएं अब जेडीयू-आरजेडी की सरकार में होती रहेंगी। ये बिहार में जंगलराज की वापसी का ट्रेलर है। अभी पिक्चर बाकी है।
पटना: आनंद मोहन के जेल से सीधे घर पहुंचने पर बीजेपी नेता अरविंद कुमार ने कहा- जेल से बिना बेल के सीधे घर पहुंच जाना दुर्भाग्यपूर्ण, यह बिहार में जंगलराज का ट्रेलर है, पूरी पिक्चर तो बाकी है.. देखिए वीडियो#NBTBihar #Patna #BiharNews pic.twitter.com/3uiqXpVX3a
— NBT Bihar (@NBTBihar) August 14, 2022
वहीं, आनंद मोहन के बेटे और आरजेडी विधायक चेतन आनंद ने हिंदी अखबार ‘नवभारत टाइम्स’ से कहा कि इसे मुद्दा बनाया जा रहा है। कोर्ट से जेल लौटने का रास्ता दीघा होकर है और घर के सामने से ही जाना होता है। उनका कहना था कि जब पिता को जेल ले जाया जा रहा था, तो उनके सिर में दर्द होने लगा। इस पर चांद मेमोरियल अस्पताल में डॉक्टर को दिखाने गए थे। अस्पताल के दूसरी तरफ हमारा आवास है। ऐसे में कुछ लोग थे, तो यहां चले आए।