नई दिल्ली। इस साल झारखंड विधानसभा के भी चुनाव होने हैं। झारखंड विधानसभा चुनाव के लिए बीजेपी अपने सहयोगी दलों के साथ सीटों का बंटवारा भी तय करने लगी है। इसी के तहत बीजेपी और ऑल झारखंड स्टूडेंट्स यूनियन यानी आजसू में सीटों के बंटवारे पर सहमति होने की खबर है। सूत्रों के मुताबिक झारखंड विधानसभा चुनाव में आजसू 11 सीटों पर अपने प्रत्याशी उतारेगी। गृहमंत्री अमित शाह के घर शनिवार को हुई बैठक में आजसू को 11 सीटें देने का फैसला हुआ। बैठक में आजसू के नेता भी मौजूद थे।
झारखंड विधानसभा में 81 सीटें हैं। बहुमत के लिए 41 सीटों की जरूरत पड़ती है। अगर 2019 में हुए झारखंड विधानसभा चुनाव की बात करें, तो झारखंड मुक्ति मोर्चा यानी जेएमएम के 29 विधायक जीते थे। कांग्रेस के 17 विधायक चुने गए थे। आरजेडी का 1 विधायक जीता था। इन सभी ने मिलकर झारखंड में महागठबंधन की सरकार बना ली। वहीं, वामदल के 1 विधायक का समर्थन भी महागठबंधन को मिला। इनके अलावा पिछली बार झारखंड विधानसभा चुनाव में बीजेपी के 26 विधायक जीते थे। आजसू के 2 और एनसीपी का भी 1 प्रत्याशी जीतकर विधायक बने। इस बार बीजेपी हर हाल में जेएमएम के नेतृत्व वाली महागठबंधन सरकार को झारखंड की सत्ता से हटाना चाहती है। इसके लिए सभी कोशिश वो कर रही है।
पिछले दिनों बीजेपी ने जेएमएम के वरिष्ठ नेता और पूर्व सीएम चंपाई सोरेन को भी अपने साथ जोड़ा था। इसके अलावा लोकसभा चुनाव में पूर्व सीएम मधु कोड़ा की पत्नी को समर्थन भी दिया था। इस बार आजसू से सीटों के बंटवारे की सहमति बनाकर बीजेपी ने झारखंड विधानसभा चुनाव लड़ने की राह में आने वाली बड़ी बाधा भी पार कर ली है। वहीं, जेएमएम के प्रमुख और झारखंड के मौजूदा सीएम हेमंत सोरेन भी लगातार बीजेपी पर निशाना साध रहे हैं। हेमंत सोरेन का दावा है कि बीजेपी फिर झारखंड की सत्ता से बाहर रहने वाली है।