newsroompost
  • youtube
  • facebook
  • twitter

Jharkhand Political Turmoil: एक दिन की न्यायिक हिरासत में भेजे गए हेमंत सोरेन, इस मामले में हुई गिरफ्तारी

Jharkhand Political Turmoil: इससे पहले हेमंत सोरेन 40 घंटों तक गायब रहे, जिसके बाद राज्यपाल ने इस स्थिति को गंभीर बताकर फौरन मुख्य सचिव और डीजीपी को बुलावा भेजा और उनसे इस बारे में गंभीर मंत्रणा की। उधर, 40 घंटे के बाद हेमंत दिल्ली से फौरन रांज पहुंचे।

नई दिल्ली। आखिरकार भूमि घोटाला में लंबी पूछताछ के बाद झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को ईडी ने गिरफ्तार कर लिया। बता दें कि कई घंटों की पूछताछ के बाद हेमंत ने अपना इस्तीफा राजभवन को सौंप दिया था, जिसे राज्यपाल ने स्वीकार कर लिया। उधर, हेमंत के इस्तीफा देने के बाद चंपई सोरेन ने राज्यपाल के समक्ष सरकार बनाने का दावा पेश किया है, लेकिन अभी तक राज्यपाल की ओर से उन्हें बुलावा नहीं भेजा गया, जिसे ध्यान में रखते हुए माना जा रहा है कि जेएमएम खेमे में विधायकों का अभाव है। शायद इसलिए अभी तक विधायकों को सरकार बनाने के लिए बुलावा नहीं भेजा गया है।

बता दें कि इससे पहले हेमंत सोरेन 40 घंटों तक गायब रहे, जिसके बाद राज्यपाल ने इस स्थिति को गंभीर बताकर फौरन मुख्य सचिव और डीजीपी को बुलावा भेजा और उनसे इस बारे में गंभीर मंत्रणा की। उधर, 40 घंटे के बाद हेमंत दिल्ली से फौरन रांची पहुंचे। वहीं, रांची पहुंचने के बाद उन्होंने विधायक दल की बैठक बुलाई, जिसमें कल्पना सोरेन और चंपई सोरेन के नाम को लेकर विधायकों से हस्ताक्षर करवाए गए। हालांकि, पहले कल्पना सोरेन के नाम को लेकर चर्चा प्रबल थी कि उन्हें हेमंत की गिरफ्तारी के बाद सीएम पद की कमान सौंपी जा सकती है, लेकिन शायद उनके नाम पर पार्टी एकमत नहीं हो पाई, जिसके बाद चंपई सोरेन को मुख्यमंत्री बनाने का फैसला किया गया, लेकिन यह गंभीर स्थिति है कि अभी तक राज्यपाल की ओर से न्योता नहीं भेजा गया है।

हालांकि, चंपई ने राज्यपाल के समक्ष सरकार बनाने के बाबत दावा पेश कर दिया है। आइए, इस रिपोर्ट में हम आपको झारखंड की राजनीति में चल रही पल-पल की उथल-पुथल के बारे में तफसील से बताते हैं।

LIVE UPDATE:-

चंपत सोरेन राजभवन पहुंचे थे, जहां उनकी राज्यपाल से मौजूदा राजनीतिक स्थिति पर मंत्रणा हुई। वहीं, राज्यपाल से मिलने के बाद चंपई सोरेन ने मीडियाकर्मियों से कहा कि वो जल्द ही सरकार बनाएंगे, लेकिन उन्होंने निर्धारित तिथि पर कुछ भी कहने से इनकार कर दिया है।

झारखंड की राजनीति में जारी उथल-पुथल के बीच चंपई सोरेन राजभवन पहुंच चुके हैं, जहां उनकी राज्यपाल से मुलाकात जारी है। अब ऐसे में झारखंड की मौजूदा राजनीतिक स्थिति को ध्यान में रखते हुए क्या कुछ कदम उठाया जाता है। इस पर सभी की निगाहें टिकी रहेंगी।

राज्यपाल ने शाम पांच बजे विधायकों को बुलाया है। राज्य में राजनीतिक संकट बना हुआ है। ना ही कोई मुख्यमंत्री है और ना ही राष्ट्रपति शासन लागू है। राज्यपाल ने ना ही विधायकों को सरकार बनाने के लिए न्योता भेजा है और ना ही बीजेपी ने सरकार बनाने का दावा पेश किया है।

झारखंड के सीएम हेमंंत सोरेन को भूमि घोटाला मामले में गिरफ्तार किए जाने के बाद एक दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है। उधर, कोर्ट ने प्रदेश सरकार की ओर से पेश हुए महाधिवक्ता की मौजूदगी पर सवाल उठाया। कोर्ट ने कहा कि जब सरकार नाम की कोई चीज रह ही नहीं गई है, तो फिर महाधिवक्ता यहां क्या कर रहे हैं ?

कोर्ट पहुंचे हेमंत सोरेन। कुछ देर बाद ही उन्हें अदालत में भेजा जाएगा, जहां से उन्हें हिरासत में भेजा जाएगा।

बताया जा रहा है कि ईडी सीएम हेमंत सोरेन की 14 दिनों की हिरासत की मांग कर सकती है। ऐसे में यह देखना दिलचस्प रहेगा कि सोरेन को कितनी दिनों की हिरासत में भेजा जाता है।

जेएमएम विधायकों को कांग्रेस शासित राज्य तेलंगाना भेजा जा सकता है। ऐसे लोग यह जानने के लिए आतुर हो चुके हैं कि आखिर ऐसी कौन-सी आफत आ गई है कि विधायकों को तेलंगाना भेजने का फैसला किया गया। उधर, विधायक दल की बैठक में चंपई सोरेन को मुख्यमंत्री की कमान सौंपे जाने का फैसला किया गया है। उन्होंने राज्यपाल के समक्ष सरकार बनाने का दावा भी पेश कर दिया है, लेकिन अभी तक राजभवन की उन्हें बुलावा नहीं भेजा गया है।

गिरफ्तारी के बाद हेमंत सोरेन को पीएमएलएल कोर्ट में पेश किया जाएगा, जहां से उन्हें हिरासत में भेजा जा सकता है। बताया जा रहा है कि जांच में सहयोग ना करने की वजह से ईडी उनकी हिरासत की मांग कर सकती है।

उधर, सीएम हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी पर राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव का भी बयान सामने आया है, जिसमें उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार जांच एजेंसियों का दुरुपोयग कर रही है। केंद्र झारखंड की लोकप्रिय सरकार को परेशान करने की कोशिश कर रही है, लेकिन मैं एक बात स्पष्ट कर देना चाहता हूं कि केंद्र के नापाक मंसूबे कभी-भी सफल नहीं होंगे। वहीं, ईडी दफ्तर में कल्पना सोरेन ने हेमंत सोरेन से मुलाकात की। फिलहाल, रांची दफ्तर से निकल चुकी हैं।

बीजेपी नेता निशिकांत दुबे ने कहा कि जेएमएम के पास विधायक ही नहीं है, तो वो सरकार बनाने के लिए राज्यपाल के पास किस मुंह से जाएंगे। उधऱ, हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी के विरोध में पूर्व केंद्रीय मंत्री कपिल सिब्बल ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की है। याचिका में कहा गया है कि चुनाव से पहले केंद्र की मोदी सरकार विपक्षी नेताओं को जांच एजेंसियों का दुरुपयोग कर परेशान करने की कोशिश कर रही है, लेकिन हम परेशान होने वाले नहीं हैं। बता दें कि कल सुप्रीम कोर्ट इस पूरे मसले पर सुनवाई करेगी।

हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी के विरोध में आज झारखंड बंद का आह्वान किया गया है। कई जगहों पर इस बंद का असर देखने को मिल रहा है।

गिरफ्तारी से पहले झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन ने अपने बयान में कहा था कि, ‘”संभवत: ईडी मुझे आज गिरफ्तार कर लेगी, लेकिन मुझे चिंता नहीं है क्योंकि मैं शिबू सोरेन का बेटा हूं…पूरे दिन की पूछताछ के बाद, उन्होंने मुझे उन मामलों में गिरफ्तार करने का फैसला किया जो मुझसे संबंधित नहीं हैं। उनके पास कोई सबूत नहीं है।” अभी तक नहीं मिला। उन्होंने मेरे दिल्ली आवास पर छापा मारकर मेरी छवि खराब करने की भी कोशिश की। गरीबों, आदिवासियों, दलितों और निर्दोषों पर अत्याचार करने वालों के खिलाफ हमें अब एक नई लड़ाई लड़नी होगी…”