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Sengol Placed At New Parliament: नए संसद भवन में स्थापित हुआ पवित्र सेंगोल, जानिए कितनी प्राचीन है राजदंड की ये परंपरा

पीएम नरेंद्र मोदी ने आज नए संसद भवन का उद्घाटन किया। इस मौके पर उन्होंने लोकसभा कक्ष में पवित्र सेंगोल को स्थापित किया। जिस सेंगोल यानी राजदंड को मोदी ने संसद में स्थापित किया, वो 1947 को तमिलनाडु के अधीनम की तरफ से पहले तत्कालीन वायसरॉय लॉर्ड माउंटबेटन को दिया गया था। फिर नेहरूजी को सौंपा गया था।

नई दिल्ली। पीएम नरेंद्र मोदी ने आज नए संसद भवन का उद्घाटन किया। इस मौके पर उन्होंने लोकसभा कक्ष में पवित्र सेंगोल को स्थापित किया। जिस सेंगोल यानी राजदंड को मोदी ने संसद में स्थापित किया, वो 1947 को तमिलनाडु के अधीनम की तरफ से पहले तत्कालीन वायसरॉय लॉर्ड माउंटबेटन को दिया गया था। उनसे लेकर तब पहले पीएम बने जवाहरलाल नेहरू को सेंगोल सौंपा गया था।

jawaharlal nehru with sengol
अधीनम के पुरोहित के साथ हाथ में सेंगोल लिए पीएम जवाहरलाल नेहरू की फाइल फोटो।

इस सेंगोल को जवाहरलाल नेहरू को दिए जाने के बाद इस बारे में कोई जानकारी सार्वजनिक नहीं थी। किसी को पता नहीं था कि सेंगोल आखिर कहां है। मशहूर डांसर पद्मा सुब्रहमण्यम ने काफी खोजबीन की और फिर पीएम मोदी को जानकारी दी कि जवाहरलाल नेहरू को 14 अगस्त 1947 की रात 10.45 बजे अधीनम के पुरोहितों ने सेंगोल सौंपा था। इसके बाद तलाश शुरू हुई। सेंगोल के बारे में पता चला कि इसे प्रयागराज (पहले इलाहाबाद) में नेहरू परिवार के आनंद भवन में बने म्यूजियम में रखा गया। वहां इसे नेहरू की गोल्डन वॉकिंग स्टिक यानी नेहरूजी की छड़ी बताकर प्रदर्शित किया जा रहा था।

sengol as walking stick of nehru
आनंद भवन के म्यूजियम में सेंगोल को नेहरूजी की वॉकिंग स्टिक बताकर प्रदर्शित किया गया था।

सेंगोल को नेहरूजी को दिए जाने के बारे में जानकारी मिली कि लॉर्ड माउंटबेटन ने नेहरूजी से पूछा कि सत्ता हस्तांतरण के प्रतीक स्वरूप वो क्या ग्रहण करना चाहेंगे। इस पर नेहरूजी ने आजाद भारत के पहले गवर्नर जनरल सी. राजगोपालाचारी से पूछा। उन्होंने इस बारे में ग्रंथों को देखा। फिर तमिलनाडु के अधीनम को सेंगोल बनाने को कहा। अधीनम ने ये सेंगोल बनाकर दिल्ली पहुंचाया। वैसे, प्राचीन भारत में राजदंड की परंपरा रही है। एक शासक दूसरे को सत्ता सौंपने के दौरान राजदंड भी देता था। इसे ही दक्षिण भारत में सेंगोल कहा गया। चोल राजाओं के दौर में सेंगोल सौंपने की परंपरा रही। अब ऐसा ही सेंगोल भारत के नए संसद भवन के लोकसभा कक्ष में स्थापित किया गया है।

sengol and dancer padma subramanyam
डांसर पद्मा सुब्रहमण्यम ने पीएम मोदी को सेंगोल के बारे में बताया था।