नई दिल्ली। दिल्ली में वायु प्रदूषण के गंभीर स्तर को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने नाराजगी जताते हुए आम आदमी सरकार से सवाल किया है कि आखिर बैन के बावजूद पटाखे कैसे छूटे। सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली पुलिस कमिश्नर को नोटिस जारी उनसे भी जवाब मांगा है। जस्टिस अभय एस. ओका और जस्टिस ऑगस्टीन जॉर्ज मसीह की बेंच ने दिल्ली सरकार और दिल्ली पुलिस कमिश्नर को जवाबी हलफनामा दायर करने का निर्देश दिया है। शीर्ष अदालत ने कहा कि दिल्ली में प्रदूषण को रोकने के लिए हर साल पटाखों पर बैन लगाया जाता है मगर इसका सख्ती से पालन नहीं होता। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि इस गंभीर विषय पर कुछ तो कदम उठाने होंगे ताकि अगले साल दिवाली पर आदेश का उल्लंघन ना होने पाए।
इसके साथ ही शीर्ष अदालत ने टिप्पणी करते हुए कहा कि हम शादी और चुनाव नतीजों के दौरान पटाखे जलाने पर भी रोक लगाने के लिए विचार कर रहे हैं। सुप्रीम कोर्ट के वकील एच.एस. फुल्का ने इस बारे में जानकारी देते हुए बताया कि अदालत ने इस बात को बहुत गंभीरता से लिया है कि दिवाली के दौरान पटाखे जलाने पर प्रतिबंध लागू नहीं किया गया है। सुप्रीम कोर्ट ने पुलिस कमिश्नर को नोटिस जारी किया है, उन्हें हलफनामा दाखिल कर बताना होगा कि यह प्रतिबंध क्यों लागू नहीं किया गया।
#WATCH | Delhi: On hearing in Supreme Court regarding air pollution, Advocate HS Phoolka says, “The Supreme Court has taken very seriously the fact that the ban on burning firecrackers during Diwali has not been implemented. The Supreme Court has issued a notice to the Police… pic.twitter.com/LBEebEx0OB
— ANI (@ANI) November 4, 2024
इस मामले की अगली सुनवाई अब 11 नवंबर को होगी। एडवोकेट फुल्का ने कहा कि मैंने कोर्ट को बताया, पुलिस कहती है कि यह जमानती अपराध है, हम असहाय हैं। इस पर कोर्ट ने ने कहा कि हम इस मामले को निपटाएंगे। अदालत दिल्ली में पटाखों पर स्थायी प्रतिबंध पर भी विचार कर रही है। आपको बता दें कि दिल्ली में इस समय वायु प्रदूषण बहुत ही गंभीर स्तर पर है। कई इलाकों हवा में एक्यूआई का स्तर 400 के आंकड़े को भी पार पहुंच गया है जो कि खतरनाक माना जाता है। हालत यह है कि दिल्ली में हर तरफ धुंध ही धुंध है और लोगों को सांस संबंधी परेशानियां हो रही हैं।