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Supreme Court Hearing On Waqf Amendment Act 2025: वक्फ संशोधन एक्ट 2025 पर सुप्रीम कोर्ट का फैसला सुरक्षित, केंद्र ने दी अहम दलील, कहा-अंतरिम आदेश दिया तो…

Supreme Court Hearing On Waqf Amendment Act 2025: सॉलिसिटर जनरल ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट अपने एक फैसले में कह चुका है कि संविधान के अनुच्छेद 12 के तहत वक्फ खुद में राज्य है। ऐसे में ये नहीं कह सकते कि किसी एक संप्रदाय के लोग ही इसमें शामिल होंगे। वक्फ संशोधन एक्ट के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिकाएं दाखिल हुई थीं। सॉलिसिटर जनरल ने बुधवार को कहा था कि ऐसे लोगों ने याचिकाएं दाखिल की हैं जिन पर वक्फ संशोधन एक्ट का कोई असर नहीं पड़ा है।

नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट में वक्फ संशोधन एक्ट 2025 के खिलाफ दाखिल याचिकाओं पर गुरुवार को भी सीजेआई बीआर गवई और जस्टिस ऑगस्टीन जॉर्ज मसीह की बेंच ने सुनवाई की। इस दौरान दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद अदालत ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया। केंद्र सरकार की ओर से पेश सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कई अहम दलीलें दीं। तुषार मेहता ने किसी तरह के अंतरिम आदेश का विरोध किया। उन्होंने कहा कि अगर कोर्ट अंतरिम आदेश से वक्फ संशोधन एक्ट पर रोक लगाता है और इस दौरान कोई संपत्ति वक्फ हो जाती है, तो उसे वापस लेना मुश्किल होगा। तुषार मेहता ने कहा कि इसकी वजह ये है कि वक्फ अल्लाह का होता है और एक बार जो वक्फ में गया, उसे हासिल करना आसान नहीं। उन्होंने कहा कि अगर अंतिम सुनवाई के बाद सुप्रीम कोर्ट को लगता है कि ये असंवैधानिक है, तो उसे रद्द कर सकता है।

tushar mehta
सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता सुप्रीम कोर्ट में केंद्र की तरफ से वक्फ एक्ट पर बहस कर रहे हैं।

सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने आदिवासी इलाकों का मसला भी उठाया और कहा कि आदिवासी इलाकों में कोई आम आदमी जमीन नहीं खरीद सकता। राज्य का कानून इसकी मंजूरी नहीं देता है। लेकिन अगर वही जमीन वक्फ हो जाए, तो मुतवल्ली जो चाहे कर सकता है। तुषार मेहता ने इस व्यवस्था को खतरनाक बताते हुए कहा कि इस पर रोक लगाने की जरूरत है। तुषार मेहता ने साफ किया कि वक्फ बनाना और वक्फ को दान देना अलग-अलग हैं। सॉलिसिटर जनरल ने कहा कि इसी वजह से एक्ट में 5 साल इस्लाम की प्रैक्टिस का प्रावधान रखा गया, ताकि वक्फ का इस्तेमाल कर किसी को धोखा न दिया जा सके।

तुषार मेहता ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि अगर मैं हिंदू हूं और वक्फ के लिए दान करना चाहता हूं, तो ऐसा कर सकता हूं। उन्होंने केंद्र सरकार की तरफ से कहा कि वक्फ कानून 2013 से पहले सभी एक्ट में कहा गया था कि सिर्फ मुस्लिम ही अपनी संपत्ति वक्फ कर सकते हैं। फिर 2013 के लोकसभा चुनाव से पहले संशोधन किया गया कि कोई भी संपत्ति वक्फ कर सकता है। सॉलिसिटर जनरल ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट अपने एक फैसले में कह चुका है कि संविधान के अनुच्छेद 12 के तहत वक्फ खुद में राज्य है। ऐसे में ये नहीं कह सकते कि किसी एक संप्रदाय के लोग ही इसमें शामिल होंगे। वक्फ संशोधन एक्ट 2025 के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में तमाम याचिकाएं दाखिल हुई थीं। इस पर सॉलिसिटर जनरल ने बुधवार को सुप्रीम कोर्ट में कहा था कि ऐसे लोगों ने याचिकाएं दाखिल की हैं जिन पर वक्फ संशोधन एक्ट का कोई असर नहीं पड़ा है।