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Modi Gives Task To Youths: पीएम मोदी ने देश के युवाओं को दिया अहम टास्क, बोले- ऋषि-मुनियों के खगोल विज्ञान पर दिए सूत्रों को करें सत्यापित

मोदी ने इसरो वैज्ञानिकों को संबोधित करते हुए कहा कि आज पूरी दुनिया भारत की विज्ञान की ताकत, हमारी टेक्नोलॉजी और वैज्ञानिक स्वभाव का लोहा मान चुकी है। उन्होंने कहा कि आज देश का हर बच्चा आप में अपना भविष्य देख रहा है। इसरो वैज्ञानिकों से पीएम मोदी ने कहा कि आपने युवाओं को एक रास्ता दिखाया है।

बेंगलुरु। पीएम नरेंद्र मोदी अपनी विदेश यात्रा के बाद आज सीधे बेंगलुरु पहुंचे और चंद्रयान-3 को सफलता से चांद की सतह पर उतारने वाले इसरो वैज्ञानिकों से मिलकर उन्हें बधाई दी। मोदी इस कार्यक्रम में भावुक भी हुए। साथ ही उन्होंने वैज्ञानिकों को संबोधित करते हुए देश के युवाओं और इसरो के पूर्व वैज्ञानिकों को टास्क भी सौंपा। युवाओं को मोदी ने टास्क देते हुए कहा कि भारत के शास्त्रों में खगोल विज्ञान के तमाम सूत्र हैं। इन सूत्रों को वैज्ञानिक तौर पर सत्यापित करने के लिए नई पीढ़ी को काम करना होगा। मोदी ने कहा कि ऋषि-मुनियों के वक्त अंतरिक्ष विज्ञान के तमाम गुणों और रहस्यों की खोज बहुत पहले ही हो गई थी।

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मोदी ने इसरो वैज्ञानिकों को संबोधित करते हुए कहा कि आज पूरी दुनिया भारत की विज्ञान की ताकत, हमारी टेक्नोलॉजी और वैज्ञानिक स्वभाव का लोहा मान चुकी है। उन्होंने कहा कि आज देश का हर बच्चा आप में अपना भविष्य देख रहा है। इसरो वैज्ञानिकों से पीएम मोदी ने कहा कि आपने युवाओं को एक रास्ता दिखाया है। उन्होंने कहा कि वैज्ञानिकों की उपलब्धि न सिर्फ चंद्रयान में है, बल्कि पूरे देश में इससे प्रेरणा और ऊर्जा की लहर भी है। मोदी ने कहा कि मानव सभ्यता में पहली बार और धरती के लाखों साल के इतिहास में उस स्थान की तस्वीर लोग देख पा रहे हैं। ये तस्वीर भारत ने दिखाई है। मोदी ने कहा कि 23 अगस्त का दिन उनकी आंंखों के सामने अब भी घूम रहा है।

मोदी ने इस मौके पर इसरो वैज्ञानिकों से मजाकिया लहजे में कहा कि आपको भी एक काम सौंपता हूं। आप भी सोच रहे होंगे कि एक और काम दे दिया। इसके बाद मोदी ने कहा कि इसरो से जो वैज्ञानिक, इंजीनियर और तकनीशियन रिटायर हो चुके हैं, उनका साथ लेकर सरकार की तरफ से जो भी जनकल्याण के काम किए जा रहे हैं, उनमें शामिल किया जाए। उन्होंने कहा कि इससे आम लोगों का भला हो सकेगा। पीएम के इन बातों के दौरान इसरो के वैज्ञानिकों की तालियों की गड़गड़ाहट से कमांड सेंटर का हॉल गूंज रहा था।