
नई दिल्ली। मणिपुर में कुकी समुदाय की दो महिलाओं की निर्वस्त्र परेड के वीडियो पर सुप्रीम कोर्ट ने खुद संज्ञान लिया है। कोर्ट इस मामले में कल सुनवाई करेगा। चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ ने मामले का संज्ञान लेते हुए कहा कि दो महिलाओं को घुमाने का जो वीडियो आया है, वो परेशान करने वाला है। चीफ जस्टिस ने इस मामले में सरकार से कार्रवाई के लिए कहा है। उन्होंने कहा कि अगर सरकार कार्रवाई करने में नाकाम रहती है, तो सुप्रीम कोर्ट इस मामले को अपने हाथ लेकर जरूरी कदम उठाएगा। चीफ जस्टिस ने कहा है कि सांप्रदायिक दंगों में महिलाओं को उपकरण के तौर पर इस्तेमाल करना बिल्कुल अस्वीकार्य है।
मणिपुर में दो महिलाओं को नग्न कर घुमाने का जो वीडियो सामने आया है वो वास्तव में परेशान करने वाला है: सुप्रीम कोर्ट
भारत के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ ने सरकार से कार्रवाई करने को कहा है। pic.twitter.com/tevgPE7wM7
— ANI_HindiNews (@AHindinews) July 20, 2023
चीफ जस्टिस चंद्रचूड़ ने कहा कि जो वीडियो सामने आए हैं, उससे हम बेहद परेशान हैं। उन्होंने कहा कि अब समय आ गया है कि सरकार वास्तव में कदम उठाए और कार्रवाई हो। चीफ जस्टिस के कोर्ट ने केंद्र सरकार और मणिपुर सरकार से बताने को कहा है कि आरोपियों को सजा दिलाने के लिए उन्होंने क्या कदम उठाए हैं। कोर्ट ने कहा कि मीडिया में जो दिखाया गया है, वो गंभीर संवैधानिक उल्लंघन और महिलाओं को हिंसा के साधन के तौर पर इस्तेमाल करने को दिखाता है। कोर्ट ने कहा कि इस बारे में दोनों सरकारों को कल अपना जवाब दाखिल करना है। जिसके बाद मामले पर कोर्ट और फैसला लेगा।
इस देश के किसी भी कोने में, किसी के भी राज्य सरकार में राजनीति और वाद-विवाद से ऊपर उठकर कानून व्यवस्था का महात्म्य और नारी का सम्मान है। मैं देशवासियों को विश्वास दिलाता हूं कि किसी भी गुनहगार को बख्शा नहीं जाएगा। कानून अपनी पूरी शक्ती से और सख्ती से एक के बाद एक कदम उठाएगा।… pic.twitter.com/PELWto3Scr
— ANI_HindiNews (@AHindinews) July 20, 2023
बता दें कि कुकी महिलाओं को निर्वस्त्र कर परेड कराने और फिर कथित तौर पर गैंगरेप का मुख्य आरोपी गिरफ्तार किया जा चुका है। पीएम मोदी ने इस मामले में संसद का मॉनसून सत्र शुरू होने से पहले कहा है कि उनके दिल में इस घटना पर काफी नाराजगी और पीड़ा है। उन्होंने कहा कि हर हाल में इस घटना के दोषियों को सख्त से सख्त सजा दिलाई जाएगी। माना जा रहा है कि सरकार इस मामले में मणिपुर की बीजेपी सरकार से भी सख्ती बरतने का निर्देश दे सकती है।