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West Bengal: ‘कैश क्वीन’ की करप्शन-कथा! काली डायरी के कोड वर्ड डिकोड करेगी ED

West Bengal: ईडी की नजर अब उस काली डायरी पर टिकी है, जो अर्पिता के घर से बरामद हुई है। ब्लैक एक्जिक्टिव डायरी के साथ-साथ एक पॉकेट डायरी में कोड वर्ड में कई ऐसी एंट्रिया है जो SSC घोटाले में कई राज का खुलासा कर सकती है। 3 अगस्त तक पार्थ चटर्जी ईडी की हिरासत में है और उनसे पूछताछ का सिलसिला चल रहा है। ईडी की प्राथमिकता 3 अगस्त से पहले डायरी के पन्नों को डिकोड करना चाहती है।

नई दिल्ली।  शिक्षा भर्ती घोटाले में आरोपी पार्थ चटर्जी की करीबी अर्पिता मुखर्जी के एक और फ्लैट से नोटों का पहाड़ मिला है। 24 परगना के बेलघरिया में अर्पिता के फ्लैट से करीब 28 करोड़ रुपये कैश बरामद हुआ है। इसके अलावा उनके फ्लैट से किलो सोना जिसकी कीमत करीब 3 करोड़ के आसपास है। लेकिन ये कहानी यही भी खत्म नहीं होती है, बल्कि यहां से एक नया चैप्टर शुरू होने जा रहा है, क्योंकि भ्रष्टाचार का बही खाता भारी और मोटा होता जा रहा है। मगर ये कितना भारी और कितना मोटा होगा। इसका पता मिलेगा उस काली डायरी से जो अर्पिता मुखर्जी के घर से मिली है और जिसमें करप्शन की काली कमाई के कोड वर्ड में एक-एक डिटेल दर्ज है। बता दें कि पहली बार जब प्रवर्तन निदेशालय ने अर्पिता के घर छापा मारा था। तो ममता बनर्जी के मंत्री पार्थ चटर्जी का बुरा हाल हो गया था। एयर कंडीशनर कमरे में रहने वाले पार्थ चटर्जी अब ईडी के अधिकारियों के साथ अस्पताल-अस्पताल के चक्कर लगा रहे है। ये उस वक्त हुआ था जब ईडी ने पहली बार अर्पिता के घर से गुलाबी नोटों का अंबार मिला था।

पश्चिम बंगाल के शिक्षक भर्ती घोटाले में ममता बनर्जी सरकार में मंत्री पार्थ चटर्जी अब पूरी तरह से घिर चुके है। क्योंकि उनकी खासमखाश अर्पिता मुखर्जी की तरफ ईडी ने नजारे कुछ ज्यादा ही इनयात कर रखी है। दरअसल 7 दिन के अंदर दूसरी बार अर्पिता के दूसरे ठिकाने पर ईडी तमाम तामझाम के साथ पहुंची और कुबेर का खजाना खोल दिया। ईडी को छापे में जो करोड़ों का कैश मिला है उसके साथ-साथ सुरगों के भी एजेंसी के हाथ लग गए है। जो इस घोटाले का राज पूरी तरह से बेनकाब कर सकते है।

लेकिन ईडी की नजर अब उस काली डायरी पर टिकी है, जो अर्पिता के घर से बरामद हुई है। ब्लैक एक्जिक्टिव डायरी के साथ-साथ एक पॉकेट डायरी में कोड वर्ड में कई ऐसी एंट्रिया है जो SSC घोटाले में कई राज का खुलासा कर सकती है। 3 अगस्त तक पार्थ चटर्जी ईडी की हिरासत में है और उनसे पूछताछ का सिलसिला चल रहा है। ईडी की प्राथमिकता 3 अगस्त से पहले डायरी के पन्नों को डिकोड करना चाहती है।

इसके अलावा डायरी में दर्ज एंट्री के सोर्स और सबूतों का पता लगाना। भर्ती घोटाले की घूस की सारी रकम का पता लगाना। डायरी के 16 पन्नों का राज सबूत की शक्ल में इकट्ठा करना। इस वक्त की सबसे पहली जरूरत ये है कि 3 अगस्त से पहले पूरी डायरी के पन्नों को खगाल लेना है। उस डायरी में जितने कोड वर्ड है उन्हें डिकोड करना। सूत्रों के अनुसार, इन दोनों डायरी में कई कोड की एंट्री की गई है। इसे पश्चिम बंगाल सेवा आयोग भर्ती घोटाले में घूस के खेल का पूरा कच्चा चिट्ठा सामने आ सकता है। दावा किया जा रहा है कि मोटी रकम लेकर शिक्षकों की भर्ती की गई थी।