newsroompost
  • youtube
  • facebook
  • twitter

Trudeau Attacks Swastika Now: कनाडा के पीएम ट्रूडो ने स्वास्तिक को बनाया निशाना?, हिटलर के हेकेनक्रूज को पहले भी बताया जाता रहा है हिंदुओं का पवित्र धार्मिक प्रतीक, जबकि दोनों हैं अलग

Trudeau Attacks Swastika Now: स्वास्तिक चिन्ह को हिंदुओं का धार्मिक प्रतीक माना जाता है, कई धार्मिक मौकों पर करोड़ों लोग इस चिन्ह को बनाते है। इसके अलावा शुभ कार्यों में स्वास्तिक चिन्ह का प्रयोग करते है, जबकि हिटलर के हकेनक्रेज चिन्ह को नफरत का प्रतीक माना जाता है। दोनों के चिन्ह में काफी अंतर है।

नई दिल्ली। कनाडाई पीएम जस्टिन ट्रूडो ने एक बार फिर भारत के खिलाफ जहर उगलने की कोशिश की है। ट्रूडो भारत को बदनाम करने की कोई ना कोई साजिश रचते रहते है। कभी खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर को लेकर तो कभी राजनयिकों को लेकर जहर उगल रहे है। लेकिन इस बार कनाडाई पीएम ने हद ही कर दी है। उन्होंने हिंदुओं के स्वास्तिक चिन्ह को लेकर विवादित टिप्पणी की है। दरअसल जस्टिन ट्रूडो ने स्वास्तिक चिन्ह को नफरत फैलाने वाला बताया है। जिसके बाद एक बार फिर से वो सुर्खियों में आ गए है। इतना ही नहीं कनाडा के प्रधानमंत्री की जमकर निंदा भी हो रहा है।

justin trudeau

लेकिन कनाडाई पीएम जस्टिन ट्रूडो ने बिना सोचे समझे हिंदू विरोधी ट्वीट तो कर दिया है। मगर अब उनका ये बयान उन पर ही भारी पड़ते दिखाई दे रहा है। सोशल मीडिया पर ट्रूडो को जमकर ट्रोल किया जा रहा है।  पॉलिटिकल कमेंटेटर Mark Slapinski ने लिखा, आपने संसद में नाजी सैनिक का जश्न मनाया।

इसके अलावा कई यूजर्स ने कनाडाई पीएम को हिंदुओं के स्वास्तिक और नाजी के चिन्ह का मतलब समझा दिया। बता दें कि स्वास्तिक चिन्ह को हिंदुओं का धार्मिक प्रतीक माना जाता है, कई धार्मिक मौकों पर करोड़ों लोग इस चिन्ह को बनाते है। इसके अलावा शुभ कार्यों में स्वास्तिक चिन्ह का प्रयोग करते है, जबकि हिटलर के हकेनक्रेज चिन्ह को नफरत का प्रतीक माना जाता है। दोनों के चिन्ह में काफी अंतर है। लेकिन ये भिन्नताएं कनाडा के पीएम को नजर नहीं आता है। इसलिए वो भारत विरोधी बयान से देने से बाज नहीं आते है।

ट्रूडो ने स्वास्तिक को क्योंं बनाया निशाना?

बता दें कि ट्रूडो ने अपने सोशल मीडिया एक्स पर लिखा, ”जब हम घृणित भाषा और कल्पना देखते या सुनते हैं, तो हमें इसकी निंदा करनी चाहिए। पार्लियामेंट हिल पर किसी व्यक्ति द्वारा स्वास्तिक का प्रदर्शन अस्वीकार्य है।” आगे जस्टिन ट्रूडो ने हिंदुओं के स्वास्तिक चिन्ह् पर जहर उगलते हुए कहा, कनाडाई लोगों को शांतिपूर्वक इकट्ठा होने का अधिकार है-लेकिन हम यहूदी विरोधी भावना, इस्लामोफोबिया या किसी भी प्रकार की नफरत को बर्दाश्त नहीं कर सकते।”

लेकिन सवाल ये उठता है कि कनाडाई पीएम ने स्वास्तिक चिन्ह को लेकर अपमानित करने वाली भाषा का इस्तेमाल क्यों किया। आखिर वो भारत से पंगा लेने से बाज क्यों नहीं आ रहे है? इससे पहले ट्रूडो ने कनाडा की संसद में आतंकी निज्जर की हत्या का आरोप भारत सरकार पर लगाए। जिसके बाद से भारत और कनाडा के रिश्ते तल्ख हो गए। ट्रूडो की छवि भारत के खिलाफ काम करने वाले खालिस्तानी समर्थक आतंकियों के प्रति झुकाव वाली बन गई है। अब वो स्वास्तिक पर बैन लगाने पर काम कर रहे है लंबे समय से इसे बैन करने की फिराक में है। हालांकि ट्रूडो इसको लेकर कोई सख्त फैसला नहीं ले सके है।