नई दिल्ली। भारत के अरुणाचल प्रदेश और अक्साई चिन को बीते दिनों चीन ने अपने नक्शे पर दिखाया था। जिसे लेकर वैश्विक परिदृश्य पर चर्चा का बाजार गुलजार हो गया था। वहीं, अब इस पर भारतीय विदेश मंत्रालय का बयान सामने आया है। बता दें, भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने चीन द्वारा जारी किए गए मानचित्र पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि हमने चीन के तथाकथित मानचित्र 2023 को लेकर चीनी पक्ष के राजनयिक चैनलों के साथ विस्तारपूर्वक वार्ता कर इस पर विरोध जताया है। हम चीन के इन दावों को सिरे से खारिज करते हैं, क्योंकि इसमें बिल्कुल भी सत्यता नहीं है। अरिंदम बागची ने कहा कि अगर चीन का यही रूख रहा तो आगामी दिनों में सीमा विवाद को हल करना मुश्किल हो जाएगा।
Our response to media queries on the so called 2023 “standard map” of China:https://t.co/OZUwNRNrit pic.twitter.com/sAmy20DEa6
— Arindam Bagchi (@MEAIndia) August 29, 2023
इससे पहले चीन के नक्शे पर केंद्रीय विदेश मंत्री एस जयशंकर प्रसाद ने भी अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त की थी , जिसमें उन्होंने कहा था कि इस तरह का नक्शा जारी करना चीन की आदत है। वैसे भी चीन के नक्शे को कोई भी गंभीरता से नहीं लेता है। विदेश मंत्री ने कहा कि किसी एरिया पर चीन के दावा कर देने से वो उसका एरिया नहीं हो जाता है। चीन के नक्शा जारी करने से कुछ नहीं बदलने वाला है। सबकुछ वैसा ही रहेगा, जैसा कि है। सरकार को पता है कि कौन-सा एरिया किसका है।
बता दें कि चीन ने यह नक्शा ऐसे वक्त में जारी किया, जब दिल्ली में जी-20 की बैठक प्रस्तावित है। इस अहम बैठक से पहले चीन इस निर्मूल विषय को तूल देने की कोशिश में जुटा हुआ है। चीन ने अपना नक्शे में अरुणाचल प्रदेश, अक्साई चिन के अलावा दक्षिण टापुओं पर भी दावा ठोका था। चीन के इस नक्शे को उसके सरकारी मीडिया ग्लोबल टाइम्स ने भी प्रमुखता से प्रकाशित किया था। गौरतलब है कि चीन इससे पहले भी कई मौकों पर इस तरह के मानचित्र जारी कर भारत के कई क्षेत्रों पर अपना दावा ठोक चुका है।