
नई दिल्ली। ईरान और इजरायल में जारी सैन्य संघर्ष के बीच अमेरिका के द्वारा ईरान के परमाणु ठिकानों पर हमला किए जाने के बाद अब सबकी नजर इस बात पर है कि ईरान क्या अमेरिका पर पलटवार करेगा? ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्ला अली खामेनेई ने कहा है कि वह इजरायल को इसके लिए माफ नहीं करेंगे। इसके साथ ही उन्होंने इजरायल को कड़ा सबक सिखाने की कसम भी खाई है। हालांकि अपनी प्रतिक्रिया में उन्होंने अमेरिका का नाम नहीं लिया। वहीं ईरान पर अमेरिकी अटैक को लेकर बुलाई गई संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की बैठक में ईरानी राजदूत आमिर सईद इरावानी ने अमेरिका पर निशाना साधा है जिससे इस बात के संकेत मिल रहे हैं ईरान कुछ तो करेगा।
इरावानी ने यूएन में दिए अपने संबोधन में अमेरिका पर निशाना साधते हुए कहा कि यह एक शांत प्राय देश की संप्रुभता पर हमला है। ईरान पर हमला करने का अमेरिका के पास कोई वैध कारण नहीं था, इसके बावजूद उसने हम पर हमला किया। उन्होंने अमेरिका पर मानवता विरोधी होने का आरोप लगाया। ईरान के राजदूत ने कहा कि गाजा पर किए जा रहे इजरायली हमले को लेकर अमेरिका कुछ नहीं कहता, वह मिडिल-ईस्ट में आतंकवादियों का खुलकर समर्थन करता है।
इरावानी बोले कि हम तो परमाणु संधि की ओर बढ़ रहे थे। इस संबंध में अमेरिका के साथ 16 जून को बैठक भी होनी थी मगर उससे पहले ही इजरायल ने अटैक कर दिया। उन्होंने कहा कि हमारे विदेश मंत्री अब्बास अराघाची इजरायली हमलों के बीच यूरोपीय देशों से शांति वार्ता को लेकर बातचीत कर रहे थे, लेकिन फिर भी अमेरिका ने बेवजह हम पर अटैक कर दिया। अमेरिका के द्वारा कासिम सुलेमानी को मारे जाने पर भी ईरान ने सवाल उठाया और कहा कि सुलेमानी एक शीर्ष सैन्य अफसर थे, अमेरिका ने उनकी हत्या क्यों की, क्या यह अमेरिका यह कृत्य जायज है?