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Dina Pathak: वो अदाकारा जिन्हें आजादी की लड़ाई में भाग लेने की मिली थी सजा, दर्जी से शादी कर सादगी में बिता दिया पूरा जीवन

Dina Pathak: आज पाठक की दोनों बेटियां ही फिल्म इंडस्ट्री में अपनी अदाकारी का परचम लहरा रही है। बेटियों का नाम है रत्ना पाठक और सुप्रिया पाठक।

नई दिल्ली। बॉलीवुड में कई कलाकारों ने काम किया है लेकिन कुछ ही कलाकार ऐसे रहे जिन्होंने अपनी अदाकारी के बल पर लोगों को खुद को याद रखने पर मजबूर किया है। ऐसी ही एक एक्ट्रेस थी दीना पाठक। जिन्होंने 60 सालों तक फिल्म इंडस्ट्री पर राज किया। ज्यादातर लोग उन्हें दादी के तौर पर याद रखते हैं क्योंकि वो कई फिल्मों में बड़े-बड़े स्टार्स की दादी बनी थी। आज दीना पाठक का 100वां जन्मदिन है। साल 1922 में दीना गांधी के रूप में जन्मीं पाठक ने गुजराती थिएटर के अभिनेता-निर्देशक के रूप में सफलतापूर्वक अपना करियर बनाया। उन्होंने हिंदी और गुजराती फिल्म और थिएटर दोनों में सबसे प्रमुख चेहरों में से एक बन गई।

120 से ज्यादा फिल्मों में किया काम

दीना पाठक ने करीब छह दशक लंबे अपने फिल्मी करियर में 120 फिल्मों भी काम किया है। उन्होंने देश की आजादी की लड़ाई के कार्यक्रम में भी भाग लिया है हालांकि इसके चलते उन्हें कॉलेज से बाहर निकाल दिया था। इसके बाद उन्होंने दूसरे कॉलेज में दाखिला लेकर अपनी बीए की पढ़ाई पूरी की थी। दीना ने भले ही हिंदी फिल्म इंडस्ट्री में एक से बढ़कर एक फिल्में दी थी लेकिन उन्होंने अपने करियर की की शुरुआत गुजराती फिल्म से की थी। हालांकि सिलाई की दुकान पर काम करने वाले दर्जी बलदेव पाठक से शादी करने के बाद एक्ट्रेस ने ब्रेक ले लिया। जिसके बाद उन्होंने दो बेटियों को जन्म दिया।

किराए के मकान में ही गुजार दी पूरी जिंदगी

आज पाठक की दोनों बेटियां ही फिल्म इंडस्ट्री में अपनी अदाकारी का परचम लहरा रही है। बेटियों का नाम है रत्ना पाठक और सुप्रिया पाठक। रत्ना की शादी नसीरुद्दीन शाह से हुई है और सुप्रिया की पंकज कपूर से। दीना बहुत साधा जीवन बिताने पर यकीन रखती थी। उन्होंने अपनी पूरी जिंदगी एक किराए के मकान में ही गुजार दी थी। एक्ट्रेस को बॉलीवुड में असल पहचान गोलमाल और ख़ूबसूरत जैसी पुरानी बॉलीवुड फिल्मों के जरिए मिली।न्होंने कोशिश, उमराव जान, मिर्च मसाला और मोहन जोशी हाजिर हो जैसी फिल्मों में कुछ सबसे अहम रोल प्ले किया।