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Tollywood vs Bollywood: 40 में से 4-5 फिल्म ही कर सकी कमाई, RRR और KGF2 के बावजूद तेलुगु फिल्म इंडस्ट्री है बुरे दौर में

Tollywood vs Bollywood: 40 में से 4-5 फिल्म ही कर सकी कमाई, RRR और KGF2 के बावजूद तेलुगु फिल्म इंडस्ट्री है बुरे दौर में रिसर्च फर्म एमके की एक रिपोर्ट के मुताबिक़ तेलुगु फिल्म इंडस्ट्री में किसी भी प्रकार की वृद्धि देखने को नहीं मिली है और इस इंडस्ट्री ने अपने काफी दर्शकों को खोया है। जहां दर्शकों की संख्या 180 मिलियन से घटकर 2021 में 161 मिलियन ही रह गई है।

नई दिल्ली। भले ही तेलुगु फिल्म इंडस्ट्री की आरआरआर (RRR), पुष्पा(Pushapa) और बाहुबली(Bahubali) ने राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय दोनों प्रसिद्धि पाई हों और भारत में भी ब्लॉकबस्टर फिल्म साबित हुई हो, लेकिन इन सबके बावजूद आज तेलुगु फिल्म इंडस्ट्री (Telugu Film Industry) में वो बढ़त देखने को नहीं मिल रही है जितनी देखने को मिलनी चाहिए। आपको बता दें आरआरआर और पुष्पा के रिलीज़ के बाद लगभग 40 फिल्म में से सिर्फ केजीएफ 2 (KGF2), विक्रम(Vikram) और कुछ अन्य ने दर्शकों को सिनेमाघर की ओर आकर्षित किया है बाकी ज्यादातर फिल्में असफल रही हैं।

टिकट के बढ़ते मूल्य इसके मूल कारणों में से एक हैं और इसके अलावा फिल्म रिलीज़ के कुछ दिन बाद ही ओटीटी प्लेटफार्म(OTT Platform) पर वापसी कर लेती है इसलिए कोई भी दर्शक सिनेमाघर में जाकर पैसे खर्च करने से कतराता है। फिल्मों को दर्शक बुरी तरह से नकार रहे हैं जिसके कारण प्रोड्यूसर ने भी अब अपने हाथों को खड़ा कर लिया है और उन्होंने अगस्त महीने से शूटिंग करने से इंकार कर दिया है। अगर फिल्मों की शूटिंग होना बंद होती है तो करीब 20,000 परिवार की जिंदगी पर असर पड़ेगा – ऐसा मानना है सुरेश प्रोडक्शन के मैनेजिंग डायरेक्टर डी सुरेश बाबू का। डी सुरेश बाबू कहते हैं, फिल्म इंडस्ट्री को गंभीरता से इस बात पर विचार करना होगा कि आखिर कैसे वो दर्शकों का झुकाव फिल्म की ओर करेंगे। आजकल फिल्म इंडस्ट्री को जल्द से जल्द अपने कंटेट को लेकर गंभीर विचार-विमर्श और उस पर एक्शन लेने की सख्त जरूरत है।

सुरेश बाबू जिन्होंने कई भाषा में फिल्मों का निर्माण किया है वो गिरते हुए फिल्म स्तर को गंभीरता से लेते हैं। वो कहते हैं – क्या यह ऐसे ही चलता रहेगा या आने वाले समय में खत्म हो जाएगा। क्या ऐसा हमेशा के लिए होने वाला है या कुछ समय के लिए ही है। कोरोना महामारी के बाद दर्शकों ने सिनेमाघर की और जाने का रुख कम कर दिया है। सीएजीआर (CGAR) – चक्रवृद्धि वार्षिक ब्याज दर (compound annual growth rate) ने इसे एक गंभीर समस्या बताया है क्योंकि 2015 से 2019 में उसमें किसी प्रकार की वृद्धि देखने को नहीं मिली है। रिसर्च फर्म एमके की एक रिपोर्ट के मुताबिक़ तेलुगु फिल्म इंडस्ट्री में किसी भी प्रकार की वृद्धि देखने को नहीं मिली है और इस इंडस्ट्री ने अपने काफी दर्शकों को खोया है। जहां दर्शकों की संख्या 180 मिलियन से घटकर 2021 में 161 मिलियन ही रह गई है। आपको बता दें तेलुगु फिल्म इंडट्री एक बड़ी फिल्म इंडस्ट्री है जो साल में लगभग 200 से अधिक फिल्म का निर्माण हिंदी और अन्य भाषा में करती है।

काफी सारे इंडस्ट्री के लोग मानते हैं कि ओटीटी प्लेटफार्म के कारण ज्यादातर फिल्म घाटा सह रही हैं क्योंकि ज्यादातर फिल्मों को दर्शक ओटीटी पर ही देखना पसंद करता है क्योंकि उसे पता होता है कि कुछ दिन बाद सिनेमाघर में रिलीज़ होने वाली फिल्में ओटीटी पर रिलीज़ हो ही जाएंगी। इसलिए अब ज्यादातर फिल्म एसोसिएशन ने यह तैयारी किया है कि कोई भी फिल्म 8 हफ्तों के बाद ही ओटीटी प्लेटफार्म पर रिलीज़ की जाए। इसके अलावा बहुत से लोगों का मानना है कि फिल्म इंडस्ट्री ने अपने पैरों पर खुद ही कुल्हाड़ी मारी है क्योंकि पहले तो उन्होंने घटिया कंटेंट देना शुरू किया है उसके बाद उन्होंने टिकट के प्राइज इतने बढ़ाए हैं कि कोरोना महामारी के बाद दर्शक उसका खर्च वहन नहीं कर पा रहे हैं।