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विकास दुबे के गुर्गों को शरण देने के आरोप में दो गिरफ्तार, ग्वालियर से पुलिस ने पकड़ा

गिरफ्तार किए गए लोगों का नाम ओम प्रकाश पांडेय और अनिल पांडेय है लेकिन ग्वालियर पुलिस ने अभी इसकी पुष्टि नहीं की है। विकास के ये दोनों सहयोगी शशिकांत पांडेय और शिवम दुबे फिलहाल फरार चल रहे हैं।

नई दिल्ली। कानपुर कांड का मुख्य आरोपी विकास दुबे उत्तर प्रदेश स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) के साथ एनकाउंटर में 10 जुलाई की सुबह मार दिया गया। वहीं अब कानपुर पुलिस विकास दुबे के सभी साथियों और उनकी मदद करने वालों के खिलाफ कार्रवाई कर रही है। इसी कड़ी में ग्वालियर से पांडे बंधुओं को गिरफ्तार किया गया है।

Vikas Dubey

इन दोनों पर विकास दुबे के सहयोगियों शशिकांत पांडेय और शिवम दुबे को शरण देने का आरोप है। गिरफ्तार किए गए लोगों का नाम ओम प्रकाश पांडेय और अनिल पांडेय है लेकिन ग्वालियर पुलिस ने अभी इसकी पुष्टि नहीं की है। विकास के ये दोनों सहयोगी शशिकांत पांडेय और शिवम दुबे फिलहाल फरार चल रहे हैं।

Vikas Dubey

पुलिस के अनुसार कानपुर कांड में वांछित शशिकांत पांडेय उर्फ सोनू और शिवम दुबे को ओम प्रकाश पांडेय निवासी भगत सिंह नगर, प्राचीन मंदिर के पास, थाना गोले का मंदिर, ग्वालियर और अनिल पांडेय निवासी सागर ताल, सरकारी मल्टी थाना गोरखपुर, ग्वालियर ने अपने यहां छिपाए रखा। दोनों के खिलाफ कानपुर नगर के चौबेपुर थाना में केस दर्ज है। फिलहाल पुलिस ने विकास दुबे सहित 6 लोगों को एनकाउंटर में मार गिराया है, वहीं 3 को गिरफ्तार किया है।

बता दें कि विकास दुबे शुक्रवार सुबह कानपुर के भौती इलाके में पुलिस मुठभेड़ मे मारा गया। विकास को मध्य प्रदेश के उज्जैन में गिरफ्तार किया गया था। ज्‍जैन में गिरफ्तार होने के बाद विकास दुबे को कानपुर लेकर आ रही यूपी एसटीएफ का वाहन कानपुर के निकट दुर्घटनाग्रस्त हो गया। इसी वाहन में विकास दुबे भी सवार था। वाहन दुर्घटनाग्रस्त होने के बाद विकास दुबे ने घायल सिपाहियों से पिस्टल छीनकर फायरिंग की और भागने की कोशिश करने लगा।