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‘हर शुक्रवार के बाद शनिवार भी आता है’, अब दंगाइयों की आएगी शामत, CM योगी के मीडिया सलाहकार का बड़ा ऐलान

नई दिल्ली। पहले दिल्ली…फिर…उत्तर प्रदेश….फिर बंगाल…फिर झारखंड…इस तरह से सिर्फ और सिर्फ विरोध प्रदर्शन के नाम पर जिस तरह हिंसा, आगजनी, सरकारी संपत्तियों को क्षति, पुलिसकर्मियों पर पथराव सरीखी गतिविधियों को अंजाम दिया गया, उसे लेकर अब योगी सरकार एक्शन के मूड में आ चुकी है। अब तक हिंसा में शामिल 200 से भी अधिक …

नई दिल्ली। पहले दिल्ली…फिर…उत्तर प्रदेश….फिर बंगाल…फिर झारखंड…इस तरह से सिर्फ और सिर्फ विरोध प्रदर्शन के नाम पर जिस तरह हिंसा, आगजनी, सरकारी संपत्तियों को क्षति, पुलिसकर्मियों पर पथराव सरीखी गतिविधियों को अंजाम दिया गया, उसे लेकर अब योगी सरकार एक्शन के मूड में आ चुकी है। अब तक हिंसा में शामिल 200 से भी अधिक लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है और तो और अवैध इमारतों को चिन्हित उन पर बाबा का बुलडोजर चलने का सिलसिला भी शुरू हो चुका है। सीएम योगी ने कल यानी हिंसा वाले दिन ही साफ कर दिया था कि किसी भी आरोपियों को बख्शा नहीं जाएगा। इससे पहले सीएम योगी दंगाइयों के लिए खिलाफ कड़ा पैगाम जारी कर चुके हैं। ऐसे में माना जा रहा है कि आने वाले दिनों में इनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी, जो कि नजीर बनेगी। उधर, आज यानी की शनिवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मीडिया सलाहकार मृत्यजंय कुमार ने कहा कि, ‘हर शुक्रवार के बाद शनिवार आता है’।

जाहिर तौर पर वे अपने इस ट्वीट से आरोपियों को सख्त पैगाम देना चाहते हैं। फिलहाल उनका यह ट्वीट काफी तेजी से वायरल हो रहा है। जिस पर लोग अलग-अलग तरह से रिएक्शन देखने को मिल रहे हैं। बता दें कि कल यानी जुमे की नमाज के दिन नमाजियों ने प्रदर्शन की आड़ में जिस तरह से हिंसा की वारदात को अंजाम दिया है, उसे लेकर अब यूपी पुलिस एक्शन के मूड में आ चुकी है। हिंसा में संलिप्त सभी लोगों को चिन्हित कर इनके खिलाफ कार्रवाई का सिलसिला शुरू हो चुका है। उधर, आज आरोपियों के अवैध निर्माण पर बुलडोजर चला है।

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घटनास्थल के सीसीटीवी फुटैज के आधार पर हिंसा में संलिप्त आरोपियों को चिन्हित किया जा रहा है। बता दें कि उक्त विरोध प्रदर्शन बीते दिनों टीवी डिबेट में बीजेपी नेता नूपुर शर्मा ने पैगंबर मोहम्मद पर विवादास्पद टिप्पणी की थी, जिसके चलते मुस्लिम संगठनों की ओर से विरोध प्रदर्शन किया गया था। लेकिन कल यह विरोध प्रदर्शन नूपुर की गिरफ्तारी की मांग की गई थी। लेकिन जिस तरह से विरोध प्रदर्शन की आड़ में हिंसा की वारदात को अंजाम दिया गया है, उसे लेकर अब सियासी गलियारों में बहस का सिलसिला शुरू हो चुका है।