
पुणे। एनसीपी के नेता और पार्टी सुप्रीमो शरद पवार के भतीजे अजित पवार आए दिन अपने चाचा और पार्टी के आधिकारिक बयान से उलट बात कहते रहते हैं। एक बार फिर अजित पवार ने ऐसा ही किया है। मामला नए संसद भवन के उद्घाटन का है। अजित पवार ने पुणे में सोमवार को शरद पवार और एनसीपी के संसद भवन पर रुख से उलट बात कही। अजित पवार ने कहा कि देश की जनसंख्या 135 करोड़ के पार जा रही है। इन लोगों का प्रतिनिधित्व करने वाले भी बढ़ेंगे। अजित पवार ने कहा कि उनको व्यक्तिगत तौर पर लगता है कि नए संसद भवन की जरूरत थी।
देश की जनसंख्या जो 135 करोड़ के पार जा रही है उसे ध्यान में रखते हुए उनका प्रतिनिधित्व करने वाले लोग भी बढ़ेंगे इसलिए मुझे व्यक्तिगत रूप से लगता है कि इस नए संसद भवन की जरूरत थी। अब इस नए भवन में, सभी को संविधान के अनुसार काम करना चाहिए और आम लोगों के मुद्दों को हल करना चाहिए,… pic.twitter.com/JDg8P6Hjul
— ANI_HindiNews (@AHindinews) May 29, 2023
अजित पवार ने आगे कहा कि अब इस नए संसद भवन में सभी को संविधान के मुताबिक काम करना चाहिए। सभी को संसद सत्रों में हिस्सा लेकर आम लोगों के मुद्दों को हल करना चाहिए। बता दें कि इससे पहले एनसीपी और उसके सुप्रीमो शरद पवार ने नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह का बहिष्कार किया था। शरद पवार ने तो संसद भवन के उद्घाटन के बाद ये तक कहा था कि मुझे बुलाया ही नहीं गया और अच्छा हुआ। अब अजित पवार ने अपने चाचा शरद पवार और एनसीपी के रुख से अलग लाइन पकड़ी है।
अजित पवार इससे पहले भी एनसीपी और शरद पवार से उलट बातें करते रहे हैं। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद कहा था कि अगर महाराष्ट्र में शिंदे गुट की शिवसेना के 16 विधायकों को अयोग्य भी घोषित कर दिया जाए, तो भी सरकार को कोई खतरा नहीं है। इसके अलावा बीते दिनों जब शरद पवार ने एनसीपी अध्यक्ष पद छोड़ने का एलान किया था, तो अजित पवार ने अपने चाचा के इस फैसले का स्वागत किया था। अजित पवार के बारे में खबरें ये भी आ रही थीं कि वो कुछ विधायकों के साथ बगावत कर बीजेपी-शिवसेना सरकार का समर्थन कर सकते हैं, लेकिन ये सिर्फ कयास ही रहे। अजित पवार एक बार रातों रात देवेंद्र फडणवीस के साथ मिलकर डिप्टी सीएम पद की शपथ भी ले चुके थे। बाद में उन्होंने एनसीपी न छोड़ने का फैसला किया था।