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ED Action: मुश्किलों में घिरे हीरो के CMD पवन मुंजाल, ईडी ने दिल्ली में अटैच की 25 करोड़ की 3 प्रॉपर्टी

ED Action: संपत्तियों की कुर्की सहित यह कार्रवाई, चल रही जांच में एक महत्वपूर्ण विकास है। हाल ही में ईडी द्वारा जब्त की गई दिल्ली की तीन संपत्तियों का कुल मूल्य लगभग ₹25 करोड़ है। गौरतलब है कि यह पहली बार नहीं है जब मुंजाल को इस तरह की कार्रवाई का सामना करना पड़ा है, जांच के सिलसिले में कुल ₹50 करोड़ की संपत्ति पहले ही जब्त की जा चुकी है।

प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने हीरो मोटोकॉर्प के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक पवन कुमार मुंजाल से जुड़े कथित मनी लॉन्ड्रिंग मामले में अपनी जांच तेज कर दी है। ईडी ने हाल ही में अपनी चल रही जांच के तहत दिल्ली में तीन अचल संपत्तियां जब्त कीं, जिनकी अनुमानित कीमत लगभग ₹25 करोड़ है। ईडी का यह ताजा कदम एक हाई-प्रोफाइल मनी लॉन्ड्रिंग मामले की जांच से जुड़ा हुआ है, जिसकी छाया मुंजाल और उनके व्यापारिक साम्राज्य पर पड़ रही है। ईडी पिछले कुछ समय से पवन मुंजाल के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों की सूक्ष्म जांच कर रही थी। संपत्तियों की कुर्की सहित यह कार्रवाई, चल रही जांच में एक महत्वपूर्ण विकास है। हाल ही में ईडी द्वारा जब्त की गई दिल्ली की तीन संपत्तियों का कुल मूल्य लगभग ₹25 करोड़ है। गौरतलब है कि यह पहली बार नहीं है जब मुंजाल को इस तरह की कार्रवाई का सामना करना पड़ा है, जांच के सिलसिले में कुल ₹50 करोड़ की संपत्ति पहले ही जब्त की जा चुकी है।

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मनी लॉन्ड्रिंग के आरोप

पवन मुंजाल के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों ने उद्योग और वित्तीय नियामकों के बीच गंभीर चिंता पैदा कर दी है। ईडी यह पता लगाने के लिए मुंजाल के वित्तीय लेनदेन और संपत्तियों की जांच कर रहा है कि क्या उनमें से कोई अवैध धन प्रवाह से जुड़ा है। मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों में आम तौर पर अवैध रूप से प्राप्त धन की उत्पत्ति को छिपाने और जटिल वित्तीय लेनदेन के माध्यम से उन्हें वैध दिखाने की प्रक्रिया शामिल होती है।

ईडी की जारी कोशिशें

मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों के पीछे की सच्चाई को उजागर करने के लिए प्रवर्तन निदेशालय अपनी खोज में कोई कसर नहीं छोड़ रहा है। एजेंसी मुंजाल के वित्तीय रिकॉर्ड, लेनदेन और संपत्ति होल्डिंग्स की बारीकी से जांच कर रही है। संपत्तियों की जब्ती इस प्रक्रिया में एक महत्वपूर्ण कदम है, क्योंकि इसका उद्देश्य संपत्तियों के किसी भी अन्य दुरुपयोग या व्यय को रोकना है जो कथित मनी लॉन्ड्रिंग गतिविधियों से जुड़ा हो सकता है।