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Reasi Attack: NIA की बड़ी कार्रवाई, रियासी आतंकी हमले की जांच में राजौरी की तमाम जगहों पर डाली रेड

Reasi Attack: जांच के दौरान, एनआईए ने आतंकवादियों और ओजीडब्ल्यू के बीच संबंध स्थापित करने के लिए कई वस्तुओं को जब्त किया, जिससे व्यापक साजिश का पता चला। रियासी के पुलिस अधीक्षक के अनुसार, आरोपी हकीम दीन ने न केवल हमलावरों को पनाह दी, बल्कि उनके संचालन में सक्रिय रूप से उनकी सहायता भी की, जिससे दुखद घटना को अंजाम दिया गया। पूछताछ के दौरान, हकीम दीन ने खुलासा किया कि उसके आवास पर तीन आतंकवादी रुके थे।

नई दिल्ली। राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने रियासी आतंकी हमले के सिलसिले में रविवार को जम्मू और कश्मीर के राजौरी जिले में कई जगहों पर छापेमारी की। 9 जून, 2024 की शाम को आतंकवादियों ने रियासी जिले के पौनी इलाके में शिवखोरी से कटरा जा रही तीर्थयात्रियों की बस पर गोलीबारी की, जिससे बस पास की एक खाई में गिर गई। इस भीषण हमले में एक बच्चे समेत नौ लोगों की मौत हो गई। हमले के बाद गृह मंत्रालय ने 15 जून, 2024 को जांच एनआईए को सौंप दी। जांच के हिस्से के रूप में, एनआईए ने हाइब्रिड आतंकवादियों और ओवरग्राउंड वर्कर्स से जुड़े पांच स्थानों पर तलाशी ली। गिरफ्तार आरोपी हकम खान उर्फ ​​हकीम दीन द्वारा दी गई जानकारी के आधार पर इन स्थानों की पहचान की गई। एनआईए के अनुसार, हकम ने आतंकवादियों को सुरक्षित पनाहगाह, भोजन और आवश्यक आपूर्ति प्रदान की थी।


गिरफ्तार आरोपी द्वारा किए गए खुलासे

जांच के दौरान, एनआईए ने आतंकवादियों और ओजीडब्ल्यू के बीच संबंध स्थापित करने के लिए कई वस्तुओं को जब्त किया, जिससे व्यापक साजिश का पता चला। रियासी के पुलिस अधीक्षक के अनुसार, आरोपी हकीम दीन ने न केवल हमलावरों को पनाह दी, बल्कि उनके संचालन में सक्रिय रूप से उनकी सहायता भी की, जिससे दुखद घटना को अंजाम दिया गया। पूछताछ के दौरान, हकीम दीन ने खुलासा किया कि उसके आवास पर तीन आतंकवादी रुके थे। एसपी ने आगे कहा कि आतंकवादियों ने आरोपियों को पैसे दिए थे।

पीएम और गृह मंत्री द्वारा सुरक्षा समीक्षा

जून में जम्मू-कश्मीर में कई आतंकवादी हमलों के मद्देनजर, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने क्षेत्र में सुरक्षा स्थिति की समीक्षा की। श्रीनगर के अपने दो दिवसीय दौरे के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने इस बात पर जोर दिया कि, “सरकार हाल ही में हुए आतंकवादी हमलों को लेकर गंभीर है। देश के दुश्मनों को सबक सिखाने में कोई कसर नहीं छोड़ी जाएगी। शांति और मानवता का विरोध करने वाले लोग जम्मू-कश्मीर में हो रहे विकास से खुश नहीं हैं।” एनआईए की चल रही जांच का उद्देश्य आतंकवादी नेटवर्क को खत्म करना और रियासी हमले के पीड़ितों को न्याय दिलाना है।