लखनऊ। भारतीय मनीषा इस बात को हमेशा मानती रही है कि जल है तो कल है। जल के बगैर जीवन की कल्पना नहीं की जा सकती है। ऐसे में जल के महत्व को समझना होगा ताकि आने वाला कल सुरक्षित रहे। इस क्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में प्रदेश में जागरुकता को लेकर निरंतर कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं। प्रदेश सरकार ने भूगर्भीय जल के गिरते स्तर को सुधारने के लिए वर्ष 2019 में एक अधिनियम बनाया। इसके तहत एक निश्चित सीमा से ऊपर किसी भी भवन के निर्माण के लिए नक्शा पास करने के लिए रेन वाटर हार्वेस्टिंग की अनिवार्यता की गयी। इसका यह परिणाम हुआ कि आज प्रदेश में रेन वाटर हार्वेस्टिंग की संख्या बढ़ी है, जो हमारी भविष्य की आवश्यकताओं को पूरा करेगा। प्रदेश में जल को बचाने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अभियान को अपनाते हुए प्रदेश में पर ड्रॉप मोर क्रॉप का अभियान चलाया जा रहा है। ये बातें मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को लोकभवन में आयोजित भूजल सप्ताह के समापन समारोह में कही।
प्रधानमंत्री श्री @narendramodi जी के मार्गदर्शन व नेतृत्व में पूरे देश में ‘हर घर नल’ योजना प्रारम्भ हो रही है।
हर घर में जल उपलब्ध कराने का सपना साकार हो रहा है: #UPCM @myogiadityanath pic.twitter.com/B93187i6vy
— CM Office, GoUP (@CMOfficeUP) July 21, 2023
डबल इंजन की सरकार अपना दायित्व जानती है पर हर नागरिक को भी इसे समझना होगा
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 16 जुलाई से शुरू हुए भूजल सप्ताह कार्यक्रम का आज औपचारिक समापन हो रहा है, लेकिन वास्तव में शनिवार को वृहद वृक्षारोपण के साथ कार्यक्रम का समापन होगा। पूरे प्रदेश में वृक्षारोपण अभियान के तहत एक दिन में 30 करोड़ पौधे रोपित किए जाएंगे जबकि स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर 5 करोड़ वृक्षारोपण के साथ कार्यक्रम संपन्न होगा। इसमें हम सबको बढ़चढ़कर अपनी भागीदारी करनी होगी। ऐसे ही हमे बरसात के पानी को एकत्रित करना है क्योंकि जितना भूगर्भीय जल का स्तर अच्छा होगा उतना ही हमें शुद्ध पानी मिलेगा। इसके विपरीत यह स्तर जितना नीचे जाएगा उससे ऑर्सेनिक और फ्लोराइड की शिकायत भी देखने को मिलेगी। इससे बीमारियों का खतरा भी बढ़ेगा। डबल इंजन की सरकार लगातार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में इन सभी से बचाने के उपाय कर रही है, लेकिन एक नागरिक के रूप में हम सभी का दायित्व बनता है कि हम विचार करें कि स्वयं के लिए और अपने आने वाली पीढ़ी को क्या देकर जा रहे हैं। सीएम योगी ने कहा कि सरकार हर घर नल की योजना चला रही है। पिछले 6 वर्षों में हर घर में जल उपलब्ध करवाने का सपना साकार हो रहा है। पहले जहां बुंदेलखंड और विंध्य जैसे क्षेत्रों में लोग जल 5 से 7 किलोमीटर दूर से अपने सर पर ढोकर लाते थे, आज यहां हर घर में शुद्ध जल उपलब्ध हो रहा है। सरकार आज इन इलाकों में आरओ का पानी पहुंचाने का काम कर रही है। अगर आप चाहते हैं कि हर घर जल की योजना सफलतापूर्वक लंबे समय तक चले तो इसके लिए सभी प्रदेशवासियों को आगे आना होगा और जल के महत्व को समझते हुए भूगर्भीय जल स्तर को बढ़ाना होगा क्योंकि हम अपनी जल की आवश्यकता को 80 से 90 फीसदी भूगर्भीय जल से पूरा करते हैं।
एक-एक बूंद जल का संरक्षण करना, उसको बचाने के लिए उपाय करना…यह आज की आवश्यकता है: #UPCM @myogiadityanath pic.twitter.com/xneK0STLHQ
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आज नमामि गंगे परियोजना से गंगा में आया सुधार
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि डबल इंजन की सरकार ने आजादी के अमृत महोत्सव वर्ष में पूरे देश में हर जनपद और ब्लॉक स्तर पर अमृत सरोवर के माध्यम से जल संरक्षण की दिशा में कदम आगे बढ़ाए हैं, जिसमें उत्तर प्रदेश पहले स्थान पर रहा है। नमामि गंगे परियोजना के पहले गंगा की स्थिति कितनी खराब हो चुकी थी, ये सभी जानते हैं। वहीं 9 वर्षों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में नमामि गंगे परियोजना के बाद आज इसमें व्यापक सुधार हुआ है, लेकिन अभी भी हमें इस दिशा में नये कदम उठाने होंगे क्योंकि ग्राउंड वाटर हो या सरफेस वाटर इसकी सुरक्षा करनी ही होगी। इससे ही भूगर्भीय जल का स्तर मजबूत होगा।
सीएम योगी ने प्रदेशवासियों से आवाह्न किया कि जल संरक्षण के लिए सबसे अच्छा समय बरसात का है क्योंकि इस समय हम एक-एक बूंद को बचा पाएंगे तो आने वाले समय में जीवन को बचाने का यह एक प्रयास होगा। इस विश्वास के साथ भूजल सप्ताह को यहां पर सफल बनाने के साथ ही साथ इसको वास्तविक धरातल पर क्रियान्वित करने के लिए हम सभी को संकल्पित होकर कार्य करना होगा। कार्यक्रम में जलशक्ति मंत्री स्वतंत्रदेव सिंह, जलशक्ति राज्य मंत्री दिनेश खटीक, कृषि उत्पादन आयुक्त मनोज कुमार सिंह, नमामि गंगे एवं ग्रामीण जलापूर्ति विभाग के प्रमुख सचिव अनुराग श्रीवास्तव समेत कई विभागीय अधिकारी मौजूद रहे।