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Pakistan Debt: पाकिस्तान को आईएमएफ से कर्ज मिलने में भी बड़ा रोड़ा, ऐसी कड़ी शर्तें लगाईं कि शहबाज शरीफ के गले में अटकी हड्डी

कुल मिलाकर पाकिस्तान के लिए इस वक्त वित्तीय संकट गले की हड्डी बन गया है। इससे पहले पाकिस्तान सरकार ने 7 अरब डॉलर की विस्तारित निधि सुविधा की समीक्षा की आईएमएफ की शर्त को पूरा करने के लिए रूपरेखा भी साझा की थी, लेकिन बाकी शर्तें न मानने तक आईएमएफ से कर्ज मिलने का रास्ता फिलहाल बंद है।

इस्लामाबाद। पाकिस्तान की वित्तीय स्थिति डांवाडोल है। लोगों के पास आटा नहीं है। पंपों पर पेट्रोल और डीजल नहीं मिल रहा। ईंधन की कमी से बिजली संकट भी है। बिजली नहीं, तो घरों में पानी भी नहीं आ रहा है। इन सबसे निपटने के लिए पाकिस्तान को बड़े पैमाने पर कर्ज चाहिए। पाकिस्तान के हुक्मरानों ने कर्ज के लिए तमाम दरवाजे खटखटाए। चीन, सऊदी अरब और यूएई से भी गुहार लगाने खुद पीएम शहबाज शरीफ गए थे। इसके अलावा अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) से भी कर्ज देने के लिए पाकिस्तान सरकार ने कोशिश की, लेकिन जहां दोस्तों से भी अब तक कर्ज नहीं मिला है। वहीं, आईएमएफ ने भी पाकिस्तान को कर्ज की राह में बड़ा रोड़ा अटका दिया है।

international monetary fund imf

जियो न्यूज ने एक अफसर के हवाले से खबर दी है कि आईएमएफ ने पाकिस्तान को कर्ज देने के लिए तमाम शर्तें रख दी हैं। पाकिस्तान को तुरंत 10 अरब डॉलर चाहिए। उसे इस साल पुराना कर्ज भी चुकाना है। ऐसे में आईएमएफ से पाकिस्तान ने बड़ी उम्मीद लगा रखी थी, लेकिन शर्तें इतनी कठोर हैं कि उनको मानने में पाकिस्तान की सरकार को दिक्कत हो रही है। इन शर्तों में बिजली की दरें बढ़ाना भी है। पाकिस्तान में इस साल अगस्त में आम चुनाव होने हैं। इससे पहले बिजली की दरें बढ़ाने पर सत्तारूढ़ शहबाज शरीफ को चुनाव में पराजय का डर सता रहा है।

shehbaz sharif

आईएमएफ ने एक और बड़ी शर्त टैक्स के स्लैब में बदलाव का भी रखा है। गैस की कीमतों में बढ़ोतरी की शर्त भी आईएमएफ ने पाकिस्तान की सरकार को दिया है। इन शर्तों को पूरा करने पर भी जनता के भड़क जाने के आसार हैं। कुल मिलाकर पाकिस्तान के लिए इस वक्त वित्तीय संकट गले की हड्डी बन गया है। इससे पहले पाकिस्तान सरकार ने 7 अरब डॉलर की विस्तारित निधि सुविधा की समीक्षा की आईएमएफ की शर्त को पूरा करने के लिए रूपरेखा भी साझा की थी, लेकिन बाकी शर्तें न मानने तक आईएमएफ से कर्ज मिलने का रास्ता फिलहाल बंद है। ऐसे में पाकिस्तान के पास अगले करीब डेढ़ हफ्ते की विदेशी मुद्रा बची है। अगर कर्ज न मिला, तो पाकिस्तान के पूरी तरह ठप होने के आसार हैं।