नई दिल्ली। देश-दुनिया में क्रिप्टोकरंसी का प्रचलन काफी तेजी से बढ़ रही है। क्रिप्टोकरेंसी में पहले नंबर में बिटकॉइन है तो दूसरे नंबर पर इथर या इथीरियम है। डोजकॉइन और ऑल्टकॉइन के नाम भी बड़ी क्रिप्टोकरेंसी में गिने जा रहे हैं। जब इनका प्रचलन बढ़ रहा है तो इनके ट्रांजेक्शन के लिए एटीएम भी चाहिए। ऐसी ही कुछ मांग देखते हुए होंडुरास में क्रिप्टोकरंसी एटीएम लगाए गए है। जिन्हें बिटकॉइन एटीएम भी कहा जा रहा है। इस एटीएम के जरिए लोकल करंसी देकर बिटकॉइन या इथर लिया जा सकता है। दुनिया के कई देशों में इस तरह के एटीएम का संचालन किया जा रहा है। बिटकॉइन एटीएम इंटरनेट कनेक्टेड कियोस्क होता है जहां से कस्टमर बिटकॉइन या अन्य क्रिप्टोकरंसी खरीद सकते हैं। इस एटीएम में लोगों को कैश भी जमा करना होता है।
क्या है बिटकॉइन एटीएम
बिटकॉइन एटीएम पूरी तरह से ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी के जरिए काम करता है। इस एटीएम से कैश देकर क्रिप्टोकरंसी ली जाती है, जो यूजर के डिजिटल वॉलेट में जाती है। यह काम पूरी तरह से इंटरनेट के माध्यम से किया जाता है। क्रिप्टोकरंसी डिजिटल और वर्चुअल होती है, इसलिए यहां नोट या सिक्के जैसा कुछ भी नहीं मिलता है। लोकल करंसी देकर यूजर अपने डिजिटल वॉलेट में कोड लेता है और उसी आधार पर आगे की ट्रांजेक्शन की जाती है। इस काम में क्यूआर कोड का इस्तेमाल भी किया जाता है।
इस तरह काम करता है बिटकॉइन एटीएम
कस्टमर अपने बिटकॉइन वॉलेट एड्रेस के जरिए एक क्यूआर कोड स्कैन करते हैं। इसके आधार पर खरीदे गए क्रिप्टो कॉइन कस्टमर के खाते में ट्रांसफर कर दिए जाते हैं। यदि कस्टमर के पास किसी भी तरह का क्रिप्टो खाता नहीं है तो उसे जनरेट करना होगा। कैश से खरीदारी करने के बाद कस्टमर के खाते में बिटकॉइन दिखेंगे। अमेरिका में क्रिप्टो एटीएम के लिए कई तरह के नियम भी बना दिए गए है। जिसके चलते सभी बिटकॉइन एटीएम को फाइनेंशियल क्राइम्स एनफोर्समेंट नेटवर्क से रजिस्टर होना अनिवार्य होता है।