नई दिल्ली। बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने कल बड़ा फैसला लेते हुए अचानक अपने भतीजे आकाश आनंद को अपरिपक्व बताते हुए न सिर्फ पार्टी के नेशनल कोआर्डिनेटर पद से हटा दिया बल्कि आकाश को अपने उत्तराधिकारी घोषित करने की बात से भी पीछे हट गईं। मायावती के इस फैसले के बाद अलग-अलग प्रतिक्रियाएं सामने आ रही हैं। इसी क्रम में सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने मायावती द्वारा आकाश आनंद को हटाने के पीछे का कारण बताते हुए बीएसपी सुप्रीमो पर निशाना साधा है।
अखिलेश ने सोशल मीडिया पोस्ट पर लिखा, बसपा ने अपने संगठन में बड़े बदलाव का जो भी क़दम उठाया है वो उनकी पार्टी का आंतरिक विषय है। दरअसल इसके पीछे असली कारण ये है कि बसपा की एक भी सीट आती हुई नहीं दिख रही है क्योंकि बसपा के अधिकांश परंपरागत समर्थक भी इस बार संविधान और आरक्षण को बचाने के लिए इंडिया गठबंधन को ही वोट दे रहे हैं। इस बात को बसपा अपने संगठन की विफलता के रूप में ले रही है। इसीलिए उनका शीर्ष नेतृत्व संगठन में इतना बड़ा फेर-बदल कर रहा है लेकिन अब बाज़ी बसपा के हाथ से निकल चुकी है।
बसपा ने अपने संगठन में बड़े बदलाव का जो भी क़दम उठाया है वो उनकी पार्टी का आंतरिक विषय है। दरअसल इसके पीछे असली कारण ये है कि बसपा की एक भी सीट आती हुई नहीं दिख रही है क्योंकि बसपा के अधिकांश परंपरागत समर्थक भी इस बार संविधान और आरक्षण को बचाने के लिए इंडिया गठबंधन को ही वोट दे…
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) May 8, 2024
सपा अध्यक्ष ने कहा कि सच तो ये है कि जब बसपा का प्रभाव क्षेत्र होते हुए भी पिछले तीन चरणों में उनकी एक भी सीट नहीं आ रही है तो फिर बाकी के चार चरणों में तो कोई संभावना बचती ही नहीं है। ऐसे में हम सभी वोटरों से अपील करते हैं कि आप अपना वोट ख़राब न करें और जो बाबासाहेब भीमराव अम्बेडकर जी के संविधान को बचाने के लिए सामने से लड़ रहे हैं, इंडिया गठबंधन के उन प्रत्याशियों को वोट देकर जिताएं और संविधान के संग, आरक्षण भी बचाएं। इसीलिए आग्रह है कि संविधान, आरक्षण और अपना मान-सम्मान बचाना है तो अपना वोट सपा को दें या जहाँ इंडिया गठबंधन का प्रत्याशी हो वहाँ डालकर संविधान और आरक्षण विरोधी भाजपा को हराएं।