नई दिल्ली। पीएम नरेंद्र मोदी ने लोकसभा चुनाव के वक्त वादा किया था कि अगर फिर से उनकी सरकार बनी, तो 70 साल या उससे ज्यादा उम्र के बुजुर्गों के लिए आयुष्मान भारत के तहत हर साल 5 लाख तक के मुफ्त इलाज की व्यवस्था करेंगे। मोदी ने अपना ये वादा निभाया और पिछले हफ्ते ही बुजुर्गों के लिए आयुष्मान भारत के तहत मुफ्त इलाज की सुविधा शुरू की। इंडियन एक्सप्रेस अखबार की खबर ये है कि एक हफ्ते में ही 2 लाख से ज्यादा बुजुर्गों ने आयुष्मान भारत योजना के तहत रजिस्ट्रेशन कराया है। इनमें सबसे ज्यादा संख्या केरल के बुजुर्गों की है। केरल में 89800 बुजुर्गों को आयुष्मान भारत के तहत मुफ्त इलाज की सुविधा के लिए कार्ड जारी किए गए हैं।
अब तक 2 लाख 16 हजार बुजुर्गों को आयुष्मान कार्ड जारी हुए हैं। मध्य प्रदेश में 53000 और यूपी में 47000 बुजुर्गों ने आयुष्मान भारत के लिए रजिस्ट्रेशन कराया है। देश में करीब 6 करोड़ बुजुर्ग हैं। इनमें से पश्चिम बंगाल और दिल्ली के बुजुर्गों को छोड़कर बाकी देश के बुजुर्गों को आयुष्मान भारत का लाभ मिलेगा। पश्चिम बंगाल और दिल्ली ने बुजुर्गों के लिए अलग से मुफ्त चिकित्सा योजना चला रखी है। ऐसे में वहां आयुष्मान भारत योजना लागू नहीं है। गरीब परिवार के जिन बुजुर्गों के पास पहले से ही आयुष्मान भारत के कार्ड हैं, उनको फिर से आवेदन और ईकेवाईसी करना होगा। हर साल इसमें 5 लाख का टॉप अप दिया जाएगा। अगर परिवार में एक से ज्यादा बुजुर्ग हैं, तो सभी को अलग-अलग आयुष्मान भारत योजना के तहत मुफ्त इलाज का लाभ मिलेगा।
पीएम मोदी ने साल 2018 में आयुष्मान भारत योजना लॉन्च की थी। देश के गरीब परिवारों को बड़े अस्पतालों में इलाज कराने में पैसों की दिक्कत आती थी। इसे देखते हुए पीएम मोदी ने इनको हर साल मुफ्त इलाज की योजना के साथ जोड़ा था। आयुष्मान भारत योजना में ज्यादातर पैसा केंद्र सरकार देती है। राज्य सरकारों का भी इसमें हिस्सा रहता है। बुजुर्गों के लिए आयुष्मान भारत योजना जारी करते हुए मोदी सरकार ने तय किया है कि भले ही उनकी आय कितनी भी क्यों न हो, लेकिन मुफ्त इलाज की सुविधा मिलेगी।