
रायपुर। एक तरफ सचिन पायलट ने कांग्रेस आलाकमान को अनशन के जरिए सीधी चुनौती दे दी है। वहीं, छत्तीसगढ़ में वरिष्ठ नेता टीएस सिंहदेव ने भी बयान की तलवार से पार्टी आलाकमान पर वार किया है। टीएस सिंहदेव ने संकेतों में कांग्रेस आलाकमान पर वादा न निभाने का आरोप लगाया है। उन्होंने न्यूज चैनल आजतक से बातचीत में कहा कि नाराजगी की बात नहीं, लेकिन बंद कमरों में हुई बातचीत को सार्वजनिक नहीं कर सकते। सिंहदेव ने कहा कि मीडिया में लगातार ढाई-ढाई साल के सीएम पद की बात आती रही है। जब ऐसा नहीं होता, तो दुख होता है। उन्होंने कहा कि एक मौका था कि काम कर सकते थे, लेकिन कांग्रेस आलाकमान जो तय करता है, उसे हम मानते हैं।
भूपेश बघेल की सरकार में नंबर 2 की हैसियत वाले टीएस सिंहदेव ने इस सवाल पर कि क्या कांग्रेस आलाकमान ने उनको और भूपेश बघेल को ढाई-ढाई साल के लिए सीएम बनाने की बात बोली थी, कहा कि कांग्रेस की तरफ से ये बात सार्वजनिक तौर पर नहीं कही गई। बंद कमरों सरकी बातों की मर्यादा बनाए रखनी होती है। कभी मौका मिला, तो इस बारे में बताऊंगा। टीएस सिंहदेव ने खुलकर सचिन पायलट का भी साथ दिया। उन्होंने कहा कि राजस्थान कांग्रेस अध्यक्ष रहते हुए उन्होंने कठिन चुनावी मुकाबले में कांग्रेस को जीत दिलाई और सरकार बनी। चर्चा थी कि इस नाते उनको मौका मिल सकता है, लेकिन वैसा नहीं हुआ।
बता दें कि सरगुजा के राजा टीएस सिंहदेव छत्तीसगढ़ के अंबिकापुर सीट से विधायक चुने जाते रहे हैं। उन्होंने सीएम भूपेश बघेल के खिलाफ कई बार मोर्चा खोला। यहां तक कि मंत्री रहने के दौरान टीएस सिंहदेव ने एक बार तो विधानसभा से वॉकआउट भी किया। इस साल छत्तीसगढ़ में भी विधानसभा चुनाव होने हैं। ऐसे में सिंहदेव की नाराजगी अगर कांग्रेस दूर नहीं कर पाती, तो इससे पार्टी को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ सकता है।