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Anna Hazare: अरविंद केजरीवाल के इस्तीफे के ऐलान पर सामने आई अन्ना हजारे की प्रतिक्रिया, जानिए क्या कहा?

Anna Hazare: “मैंने पहले ही केजरीवाल को राजनीति में जाने से मना किया था। मैंने उनसे कहा था कि राजनीति में मत जाओ, समाज सेवा करो, तुम बहुत बड़े आदमी बनोगे। कई साल तक हम लोग साथ थे, तब मैंने बार-बार उन्हें राजनीति में जाने से मना किया। समाज सेवा आनंद देती है। आनंद बढ़ाओ, लेकिन उनके दिल में बात नहीं रही और आज जो होना था, वो हो गया। अब उनके दिल में क्या है, मैं नहीं जानता।”

नई दिल्ली। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के इस्तीफे के ऐलान के बाद दिल्ली की राजनीति में हलचल मच गई है। उन्होंने घोषणा की है कि वह दो दिन बाद अपने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देंगे और दिल्ली में समय पूर्व चुनाव कराने की मांग करेंगे। केजरीवाल ने कहा कि जब तक लोग उन्हें ईमानदारी का प्रमाणपत्र नहीं देंगे, वह मुख्यमंत्री की कुर्सी पर नहीं बैठेंगे। समाज सेवक अन्ना हजारे ने अरविंद केजरीवाल के इस फैसले पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा, “मैंने पहले ही केजरीवाल को राजनीति में जाने से मना किया था। मैंने उनसे कहा था कि राजनीति में मत जाओ, समाज सेवा करो, तुम बहुत बड़े आदमी बनोगे। कई साल तक हम लोग साथ थे, तब मैंने बार-बार उन्हें राजनीति में जाने से मना किया। समाज सेवा आनंद देती है। आनंद बढ़ाओ, लेकिन उनके दिल में बात नहीं रही और आज जो होना था, वो हो गया। अब उनके दिल में क्या है, मैं नहीं जानता।”


 केजरीवाल की मांग, ‘नवंबर में हों दिल्ली के चुनाव’

केजरीवाल ने आबकारी नीति से जुड़े कथित भ्रष्टाचार मामले में तिहाड़ जेल से जमानत पर रिहा होने के बाद कहा कि आम आदमी पार्टी (AAP) के विधायकों की बैठक जल्द ही होगी, जिसमें पार्टी के एक नए नेता को मुख्यमंत्री चुना जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि दिल्ली में फरवरी में चुनाव होने हैं, लेकिन वह नवंबर में महाराष्ट्र के साथ राष्ट्रीय राजधानी में भी चुनाव कराने की मांग कर रहे हैं।

 ‘मैं अग्निपरीक्षा देना चाहता हूं’ – केजरीवाल

अरविंद केजरीवाल ने कहा, “मैं मुख्यमंत्री की कुर्सी पर तभी बैठूंगा, जब लोग मुझे ईमानदारी का प्रमाणपत्र देंगे। मैं जेल से बाहर आने के बाद अग्निपरीक्षा देना चाहता हूं।” उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि वह और मनीष सिसोदिया तभी मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री बनेंगे, जब जनता उन्हें ईमानदार बताएगी।

केजरीवाल का यह ऐलान दिल्ली की राजनीति में एक बड़ा मोड़ साबित हो सकता है, और आने वाले दिनों में दिल्ली के चुनावी समीकरणों में बड़े बदलाव देखने को मिल सकते हैं।