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Jammu Kashmir: पुलवामा में मोदी सरकार के आत्मनिर्भर भारत के सपने को साकार कर रही हैं महिलाएं

Modi Government: पुलवामा जिले को इस काम के लिए चुना है और इसमें 20 महिलाओं की मदद ली गई है। जिसमें ये महिलाएं सैनिटाइजर, हैंडवाश, टायलेट क्लीनर आदि बनाकर बेचकर पैसे कमा कर अपना घर चला रही हैं।

नई दिल्ली। कोरोना महामारी में जिस तरीके से देश में अर्थव्यवस्था की रफ्तार धीमी पड़ी है। उस हालात के बीच कश्मीर में आत्मनिर्भर भारत के सपने को साकार करने की खबरें सामने आई हैं। बता दें कि दक्षिण कश्मीर के पुलवामा जिले में महिलाओं के एक समूह ने आत्मनिर्भर भारत की रफ्तार को गति दी है। बता दें कि महिलाओं ने ‘उम्मीद’ के साथ रोजगार की अपनी गाड़ी दौड़ा दी है। इन महिलाओं ने कोरोना से बचाव का जरूरी सामान जैसे सैनिटाइजर, हैंडवाश आदि खुद ही तैयार किया है और उनकी मांग पर लोगों तक पहुंचाती हैं। इससे उनके रोजगार का जुगाड़ तो हो ही रहा है, साथ ही आत्मनिर्भर भारत को भी बल मिल रहा है। आज के हालात में यह समूह आज अन्य महिलाओं के लिए प्रेरणास्रोत बन गया है। आत्मनिर्भर बनकर ये महिलाएं सशक्तीकरण का बेजोड़ उदाहरण बन गई हैं।

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बता दें कि नेशनल रूरल लाइवलीहुड मिशन (एनआरएलएम) के तहत आत्मनिर्भर व सशक्त बनाने के उम्मीद योजना शुरू की गई है। इस योजना से कश्मीर में 2,33,712 महिलाएं जुड़ी हैं। इनमें से 15 हजार महिलाएं पुलवामा जिले से संबंध रखती हैं। गौरतलब है कि, पुलवामा जिले के लद्दू पांपोर इलाके की 20 महिलाओं का समूह बनाया गया है। जो इस काम को कर रही है। ये महिलाएं सैनिटाइजर, हैंडवाश, कीटनाशक दवाइयां व घरों की साफ सफाई के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले पदार्थ खुद तैयार करती हैं।

घर पर बनाने के कारण इसके दाम भी कम होते हैं, और सस्ते दामों पर ये इन सामानों को ग्राहकों की मांग पर उनके घरों तक पहुंचाती हैं। इसके लिए वो कच्चा माल जम्मू से मंगवाती हैं। इन सामानों की होम डिलीवरी भी होती है, जिसके लिए ग्राहकों को सिर्फ कॉल करना होता है। समूह ने मोबाइल नंबर इंटरनेट मीडिया पर उपलब्ध करा रखे हैं। बाजार में इन सामनों के दाम अधिक हैं, उनकी तुलना में ये समूह कम कीमत पर सामान मुहैया करा रहा है, साथ ही आठ फीसद छूट भी दी जा रही है।

इस प्रोजेक्ट का उद्देश्य महिलाओं को सशक्त बनाना है। इसको लेकर पुलवामा जिले में उम्मीद योजना के प्रोजेक्ट मैनेजर अरशद हुसैन ने जानकारी दी कि, महिलाओं को आत्मनिर्भर व सशक्त बनाना ही इस योजना का मकसद है। कोरोना के नाते सभी व्यापारिक गतिविधियां बंद होने से इस तरह का कदम लोगों की जीविका के लिए अहम है। ऐसे में सोचा कि इस योजना से जुड़ी महिलाओं को ऐसा काम करने को कहें, जिससे वह कुछ कमा सकें।

फिलहाल, पुलवामा जिले को इस काम के लिए चुना है और इसमें 20 महिलाओं की मदद ली गई है। जिसमें ये महिलाएं सैनिटाइजर, हैंडवाश, टायलेट क्लीनर आदि बनाकर बेचकर पैसे कमा कर अपना घर चला रही हैं। कश्मीर में इस तरह का यह पहला कार्यक्रम है। इससे पहले जम्मू संभाग के डंसाल व भद्रवाह में यह शुरू किया गया था। यह काफी सफल व लोकप्रिय रहे। कुछ दिनों बाद शोपियां में भी यह प्रोग्राम शुरू कर रहे हैं। इसकी रूपरेखा बनाई जा रही है।